ववदंंा बालन की दूसरी कहानी पेज- 13
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वर्ष 2 अंक 12 n पृष्: 16 n 20 जनवरी - 26 जनवरी 2017 n नयी दिल्ली n ~ 5
गठबंधन पर संकट के बादल
लखनऊ. समाजवादी पार््ी (सपा) ने शुकव् ार को 191 उम्मीदवारो्की पहली सूची जारी कर दी. इस सूची के साथ ही समाजवादी पार््ी और कांगस ्े का गठबंधन खराई मे् पड़ता नजर आ रहा है .समाजवादी पार््ी ने अपनी सूची मे् उन आठ सीरो्पर भी उम्मीदवार उतार ददए है् दजनपर दपछले चुनाव मे् कांगस ्े जीती थी .इस बीच समाजवादी पार््ी के उपाध्यक्् दकरणमय नंदा ने आज कहा दक कांग्ेस और सपा मे्गठबंधन का जो फाम्ल मू ा बना था उसके दहसाब से दसफ्फ 54 सीरो् पर कांगस ्े का दावा बनता है .सपा अदधकतम नब्बे सीर उन्हे् दे सकती है इससे ज्यादा नही् .अब इस बारे मे् कांग्ेस को दवचार करना है .इससे पहले राष््ीय लोकदल से भी सपा की बात नही्बन पाई थी .लोकदल ने पैतीस सीर के साथ उप मुख्यमंत्ी पद की मांग की थी .पर बात नही्बनने के बाद वह अलग रहकर चुनाव लड़ेगी . आज समाजवादी पार््ी के प््देश अध्यक्् नरेश उत््र परेल ने बताया दक राष््ीय अध्यक्् अदखलेश यादव की स्वीकृदत से सपा के प््थम चरण, द््ितीय चरण और तीसरे चरण के दनम्द्लदखत बाकी पेज 2 पर
ववशेष संवाददाता
उप्् भाजपा मे् घमासान
l योगी और बाबूलाल की आंखें लाल l वापसी के फेर में मौयंय l पोसंटरबाजी का दौर
धीरेनंदं शंंीवासंंव
नाराजगी जता रहे है्. योगी आददत्यनाथ के समथ् क म पोस्ररबाजी कर रहे है्और मुगालते लखनऊ. नमस््े जी की संस्कृदत मे् मे ् डू ब ा नेततृ व् उत्र् प्द् श े की दवधानसभा के दवश््ास करने वाली भारतीय जनता पार््ी मे् वदरष् ् त म और सम् म ादनत सदस्यो् मे् शुमार हालात अच्छे नही् है. जीत के दलए बाहरी उम्मीदवारो् को तरजीह ददये जाने के दवरोध दकये जाने वाले दादा श्याम देव राय चौधरी मे् प््दश्मन हो रहे है्. एक व्यक्तत ने सूबे के को दकनारे करने की माथापच््ी मे्मशगूल है. काय्ामलय मे् आत्मदाह की कोदशश की तो इधर दजन लोगो् को खुश करने के दलए सांसद चौधरी बाबू लाल साव्ज म दनक तौर पर भाजपा इस मोड़ पर पहुंची है, वह नेता भी
खुश नही्है.् स्वामी प्स ् ाद मौय्मजैसे लोग तो दफर से घर वापसी की तरफ भी हाथ पांव मारते देखे जा रहे है.् भाजपा की यह क्सथदत यूं ही नही्है. याद रहे दक गत लोकसभा चुनाव मे्भाजपा ने 73 सीरे्जीत ली्. इस अभूतपूवम्दवजय के आधार पर लोगो्ने मान दलया दक 2017 भाजपा का है. खुद पार््ी नेतृत्व ने भी मान दलया दक
2017 मे् वह दजसकी चाहेगा, उसकी ताजपोशी कर देगा. पार््ी नेततृ व् मे्आये इस भाव ने नमस््ेजी की पहचान वाली इस पार््ी की भावभंदगमा ही बदल दी. इस नये पदरवत्नम मे्पार््ी नेततृ व् लोकसभा चुनाव के माहौल को सहेजने की जगह उन लोगो्को सहेजने लगा जो चुनाव मे्दवजय की गारंरी देते हो्. इस बाकी पेज 2 पर
पर इस दल के दलए राष््ीय का अथ्मकेवल पद््शमी उत्र् प्द् श े तक सीदमत है. इसमे्भी दो संसदीय क््ेत्( बागपत और मथुरा ) इस दल के दलए काफी महत्व रखते है्. पहला संसदीय क््ेत् है बागपत जहां से भारतीय क््ांदत दल के संस्थापक चौधरी चरण दसंह सांसद रहे है्. रालोद के वत्ममान कत्ामधत्ाम चौधरी अदजत दसंह भी यहां से सांसद रहे है्. इसदलए दल दकसी भी गठबंधन मे्चाहेगा दक कम से कम बागपत संसदीय क््ेत्मे्उसका
चंडीगढ़. जार आरक्ण ् आंदोलन के दौरान दपछले साल मुरथल मे्हुए गैग् रेप के आरोपो् पर पंजाब-हदरयाणा हाईकोर्म मे् गुरव् ार को सुनवाई हुई. इस दौरान कोर्म ने कहा, गवाहो्के बयान और मौके से बरामद मदहलाओ्के कपड़्ेइस बात की ओर इशारा कर रहे है्दक मुरथल मे्गैग् रेप हुए थे. बता दे् दक दपछले साल फरवरी मे्जार आंदोलन के वत्त आंदोलनकादरयो्पर कुछ मदहलाओ्के साथ गैग् रेप करने का आरोप लगा था. गुरव् ार को मुरथल गैग् रेप मामले मे् सुनवाई के दौरान हाईकोर्मने हदरयाणा सरकार की स्पश े ल इन्वके स् रगेशन रीम (एसआईरी) को फरकार लगायी और दोदियो् को 28 फरवरी तक दगरफ्तार करने को कहा. स्ररे स दरपोर्म मे् एसआईरी ने बताया दक अंडरगारमेट् स ् पर जो सीमन पाये गये थे, उनका दमलान दहरासत मे् दलए गये आरोदपयो्के सीमन से नही्हुआ था. ऐसे मे् रेप की धारा हराकर आरोदपयो् का चालान पेश दकया गया. कोर्म ने कहा दक अगर आरोदपयो् के दखलाफ गैग् रेप और दकडनैदपंग के आरोप सादबत नही्हुए थे तो कोर्ममे्चालान देने मे्
जल्दबाजी त्यो्ददखाई गयी? इस पर पुदलस ने बताया दक उन्हे्60 से 90 ददनो् मे् चालान देना पड़्ता है, नही् तो आरोदपयो्को जमानत लेने का हक बन जाता है. एदमकस त्यरू ी अनुपम गुपत् ा ने कहा दक पांच आरोदपयो् के दखलाफ पेश दकए गये चालान मे्कहा गया दक सरकार ने गैग् रेप की धारा एफआईआर से बाहर कर दी है. हालांदक, सरकार ने इसे वड्मदमस्रक े बताया. इस पर हाईकोर्म ने कहा दक हदरयाणा सरकार ट््ायल कोर्म के सामने हलफनामा दादखल कर सफाई दे दक पांच आरोदपयो्पर रेप सादबत नही्हुआ है, ना दक एफआईआर से रेप को हराया गया है. सरकार ने कहा दक दकसी दवक्तरम ने दशकायत नही् की. मामले मे् कोई दवक्तरम सामने नही्आई है. कोई चश्मदीद गवाह भी नही् है. ऐसे मे् गैग् रेप की बात सादबत नही् होती, लेदकन जांच जारी है. एदमकस त्यरू ी गुपत् ा ने रैतस ् ी ड््ाइवर के बयान को पेश करते हुए कहा दक एसआईरी ने इसे जांच मे्शादमल तक नही्दकया. उन्हो्ने एसआईरी की तरफ बाकी पेज 2 पर
अकेले दम पर छोटे चौधरी
लखनऊ. उत््र प््देश दवधानसभा चुनाव मे् समाजवादी पार््ी (सपा) अपनी शत््ो् पर तालमेल करना चाहती है. यही वजह है दक एक ओर जहां राष््ीय लोकदल (रालोद) ने शत्ममानने से इनकार कर ददया है वही् कांग्ेस भी अगर गठबंधन से अलग हो जाये तो कोई आश््य्मनही्होना चादहये. सभी जानते है् दक कागज पर लोकदल के साथ राष््ीय शब्द जुड़्ा है, लेदकन जमीन
प््भुत्व रहे. दूसरा संसदीय क््ेत् है मथुरा जहां से जयंत चौधरी सांसद रहे है्जो चौधरी अदजत दसंह के पुत् है्. इसदलए यह सीर भी रालोद के दलए काफी मतलब रखती है. इसदलए इस क््ेत्मे्भी रालोद चाहता है दक सहयोगी दल उसके प््भुत्व को स्वीकार कर ले्. समाजवादी पार््ी का साथ दमलने से पहले तक कांग्ेस इसके दलए लगभग तैयार लग बाकी पेज 2 पर
उत््राखंड मे् कांग्ेस बनाम कांग्ेस
धनंजय वसंह
देहरादून. उत््राखंड आबादी के दलहाज से भले ही देश का एक छोरा राज्य हो लेदकन ददल्ली से इसकी नजदीकी इसे राजनीदतक तौर पर अहम और सरगम्मबनाती है. एक करोड़्से कुछ अदधक आबादी वाला राज्य जब गदठत हुआ तो पहली सरकार कांग्ेस की बनी. तब इसके मुख्यमंत्ी बने नारायणदत्् दतवारी. उस वत्त यशपाल आय्मदवधानसभा
अध्यक्् बने. आज आय्म भाजपा मे् शादमल हो चुके है् जबदक दतवारी की अदमत शाह के साथ तस्वीरे्आ चुकी है्. राज्य के बाहर के लोग शायद न जानते हो् दक दतवारी उत््राखंड के दनम्ामण के दखलाफ थे. वह कह चुके थे दक यह प््ातं उनकी लाश पर बनेगा. लेदकन दकस्मत का खेल देदखये दक उनको ही राज्य का बाकी पेज 2 पर
मुरथल में हुआ था गैंगरेप
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20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
पानसरे और दाभोलकर मामले में कोटंय की फटकार
मुंबई. बंबई उच्् न्यायालय ने आज कहा दक वह नरे्द् दाभोलकर और गोदवंद पंसारे की हत्या से जुड़्े मामलो् मे् जांच की सुस् रफ्तार से खुश नही् है. हालांदक सीबीआई ने अदालत को बताया दक स्कॉरलै्ड याड्म ने फॉरे्दसक जांच मे् मदद देने से इनकार कर ददया है त्यो्दक भारत और द््िरेन के बीच जानकारी साझा करने का कोई कानूनी समझौता नही्है. सीबीआई ने तीन तक्फवाददयो् दाभोलकर, पंसारे और कालबुग्ी की हत्या मे् प््युत्त हदथयारो् की जांच से जुड़्े साक््य: बैदलक्सरक: पर अहमदाबाद फॉरे्दसक लेबोरेररी की सीलबंद फॉरे्दरसक दरपोर्म भी जमा की. न्यायमूद्तम एससी धम्ामदधकारी और बीपी कोलाबावाला की पीठ ने कहा दक हत्या की जांच की सुस्रफ्तार से वह बेहद नाखुश है.
न्यायमूद्तमयो्ने कहा दक पुणे और कोल्हापुर की दनचली अदालतो्मे्चल रहे दाभोलकर और पंसारे की हत्या के मामलो्की सुनवाई मे्भी कोई प््गदत नही्हुई है.
उप्् भाजपा मे् घमासान पेज 1 का बाकी गारंरी की आड़ मे् उन लोगो् के दलए भी पलक दबछा ददया गया जो भाजपा की रीदतनीदत के अनुकूल नही् थे. इन लोगो् से दवदधवत दवधानसभा की प््त्यादशता का आवेदन भी दलया गया. बात यही् तक नही् र्की, पार््ी के काय्मक्मो् मे् भीड़ जुराने के दलए इन लोगो्का व्यापक र्प से उपयोग भी शुर्कर ददया गया. ऐसे लोगो्की संखय् ा हर दवधानसभा क्त्े ् लगभग डेढ दो सौ की है. इसमे्दो राय नही् है दक लकदक गादड़यो् से चलने वाले इन लोगो्के कादफले ने पार््ी के काय्क म म् ो्मे्चार चांद लगा ददये. अब ये सभी लोग चाहते है्दक दरकर उन्ही् को दमले जो संभव नही् है. इसकी वजह से भी भाजपा के दलए हर दवधानसभा क््ेत् मे् असंतुष्ो् की एक बड़ी जमात खड़ी हो गयी है. बात यही् तक नही है. सूत्ो्का कहना है दक काफी छानबीन के बाद प्त्य् ादशयो् की जो सूची तैयार की गयी है, उसमे्सौ से आदधक प्त्य् ाशी ऐसे है्जो मूलतः भाजपाई नही् है्. पार््ी इस तरह के उम्मीवारो् को लेकर उत्र् ाखंड मे् जूझ रही है. यूपी मे्भी ऐसा हुआ तो यह 2019 के दलए भी खतरे की घंरी होगी. इस क्सथदत से दनपरने के दलए पार््ी का शीि्मनेततृ व् उसी राजनाथ दसंह और कलराज दमश्् के साथ मैराथन
बैठके्कर रहा है जो लोकसभा चुनाव के बाद से शीि्मनेततृ व् की नज़र मे्स्मदृ त ईरानी और ददनेश शम्ाम के समकक््या इनसे भी कमतर आभामंडल वाले नेता लग रहे थे. होगा त्या, यह तो सभी दरकरो्के एलान के बाद पता चलेगा. दफलहाल की क्सथदत यह है दक श््ीकांत शम्ाम जैसे भाजपा के सव्क म ादलक काय्क म त्ाम भी मथुरा मे्बाहरी का दंश झेल रहे है्. शाहजहांपुर की दरदौल दवधानसभा से दरकर मांग रहे राकेश दुबे आत्मदाह करने के दलए तेल सदहत प््देश भाजपा काय्ाल म य पहुच ं गए. दफलहाल उन्हे् आत्मदाह से रोक दलया गया है, लेदकन वह दवद््ोह से भी र्क जायेग् ,े ऐसा नही्लग रहा है. कासगंज मे्घोदित उम्मीदवार के दवरोध मे् भाजपाइयो् ने प््धानमंत्ी नरे्द् मोदी, राष््ीय अध्यक्् अदमत शाह और राजस्थान के राज्यपाल कल्याण दसंह के दचत्् पर कादलख पोता. सांसद चौधरी बाबूलाल ने साव्मजदनक तौर पर एलान कर ददया है दक वह सपा छोड़कर भाजपा मे् आये अदरदमन दसंह की पत्नी पक््कादलका दसंह को दकसी तरह का सहयोग नही्करेग् .े गोरखपुर और उसके आसपास के क्त्े ्ो् मे् व्यापक प््भाव रखने वाले सांसद योगी आददत्यनाथ के समथ्मक उन्हे् मुख्यमंत्ी के र्प मे्नही्पेश दकये जाने से नाराज है. खुद सांसद योगी आददत्यनाथ ने नाराजगी से इनकार दकया है लेदकन देखने से यही लग रहा है दक नेततृ व् के रवैये के दवरोध मे्उनकी पेज 1 का बाकी से पेश दकये गये गवाहो्के बयानो्पर शक भी आंखे्लाल है.् दजन लोगो्के दलए भाजपा इस ं ी है, वह भी भाजपा के शीि्म जादहर दकया. कोर्मने कहा दक हमे्एसआईरी मोड़ तक पहुच ने त ृ त ् व से प् ् स न्न नही् है. बसपा छोड़कर की मंशा पर कोई शक नही्है, लेदकन दजस भाजपा मे ् आये स्वामी प्स ् ाद मौय्मत्या करेग् ,े तरह जांच हो रही है, उसे देख कर लगता है इसकी गारं र ी नही् है . चच्ाम है दक वह दक एसआईरी को जांच मे् गंभीरता ददखानी मुखय् मंत्ी अदखलेश यादव से भी संपक्फसाध चादहए थी. मौके पर आईजी, एसएसपी और रहे है.् इधर, प्ध ् ानमंत्ी नरेद् ्मोदी के संसदीय डीएसपी जैसे पुदलस अफसरो्के पहुच ं ने पर भी एदमकस त्यरू ी ने सवाल उठाये. उन्हो्ने क््ेत् मे् भाजपा की नयी संस्कृदत को दादा कहा, इन अफसरो् के नंबरो् की कॉल श्यामदेव राय चौधरी जैसे लोग रास नही्आ लोकेशन दनकलवाई जाये. मामले की रहे है्. भरतीय जनसंघ से चलकर भारतीय सीबीआई जांच करवाई जानी चादहये. गुपत् ा ने जनता पार््ी तक के सफर मे्हर मोड़ पर पार््ी कहा दक यह भी पता लगाया जाये दक वहां के साथ रहे वाली ज्योत्सना श््ीवास्व् और पहुच ं ना अफसरो् के दलए अचानक त्यो् राष््ीय स्वयं सेवक संघ को ही सव्सम व् मानने वाले रदवंद्जायसवाल की छुट्ी होने वाली है. जर्री हो गया था?
मुरथल में गैंगरेप
सीबीआई ने उच््न्यायालय को बताया था दक स्कॉरलै्ड याड्म को फॉरे्दसक सबूत भेजे गये थे और उसकी राय जाननी चाही थी दक महाराष्् मे् दाभोलकर और पंसारे तथा
कन्ामरक मे् एक अन्य तक्फवादी एमएम कलबुग्ी की हत्या मे् समान हदथयार इस््ेमाल दकये गये थे? अदतदरत्त सॉदलदसरर जनरल अदनल दसंह ने मारे गये दो तक्फवाददयो् के पदरजनो् की ओर से दायर यादचका की सुनवाई कर रही खंडपीठ को बताया दक स्कॉरलै्ड याड्म ने सूदचत दकया है दक फॉरेद्सक डेरा साझा करने के दलए दोनो्देशो के बीच कोई कानूनी समझौता नही् है, ऐसे मे्वह हत्या के इन मामलो्मे्फॉरेद्सक जांच मे्मदद नही्देगा. दाभोलकर की 20 अगस््, 2013 को पुणे मे्हत्या हो गयी थी जबदक पंसारे की 16 फरवरी, 2015 को कोल्हापुर मे् गोली मारकर हत्या कर दी गयी थी. प््ोफेसर कलबुग्ी की 30 अगस््, 2015 को हत्या कर दी गयी थी.
अकेले दम पर छोटे चौधरी
मारा गया लखवी का भतीजा
नयी ददल़ली. सुरक््ा बलो् ने गुर्वार को उत््र कश्मीर मे् एक मुठभेड़् मे् मुंबई हमले के मास्ररमाइंड खूंखार आतंकी जकी-उर-रहमान लखवी के भतीजे को ढेर कर ददया. अदधकादरयो्ने बताया दक दपछले साल 15 अगस्् के मौके पर नौहट््ा चौक क्सथत सीआरपीएफ पोस्र पर हुए आतंकी हमले की योजना लखवी के भतीजे अबू मुसाइब उफ्फ तादहर ने ही बनायी थी. इस हमले मे्कमांडरे् प्म् ोद कुमार शहीद हो गये थे. लश्कर-ए-तोएबा के कमांडर लखवी को मुंबई मे्26 नवंबर, 2008 को हुए आतंकी हमले का मास्ररमाइंड माना जाता है. सुरक््ा अदधकादरयो् ने बताया दक बीते कुछ सालो् मे्क््ेत्मे्लश्कर की गदतदवदधयो्को बढ्ाने मे्मुसाइब की अहम भूदमका थी.
पेज 1 का बाकी रही थी. इसकी वजह से रालोद कांग्ेस को अपना स्वाभादवक दोस्् मानकर चल रहा था. सपा मे् दछड़्े संग्ाम के दौरान कांग्ेस और रालोद मानकर चल रहे थे दक सपा का चुनाव दचन्ह दोनो्गुरो्के झगड़्ेमे्फ््ीज हो जायेगा. ऐसे मे्अदखलेश यादव से उन्हे्अपने हक से अदधक सीरे् हादसल करने मे् कोई ददक््त नही् होगी. इसदलए दोनो् दलो् ने सीरो्को लेकर बड़्ेसपने पल दलए थे. इधर, दनव्ाच म न आयोग ने अपने फैसले मे्अदखलेश यादव के नेतृत्व वाले धड़्े को ही असली समाजवादी पार््ी मान दलया. दूसरे धड़्े से आयोग के इस फैसले को चुनौती भी नही् दमली. इसकी वजह से हालात ही बदल गये. बदले हालात मे् भी सपा गठबंधन के दलए तो तैयार है पर अपने शत््ो्पर. वह अब दकसी भी दल को उसके हक से अदधक सीर देने को तैयार नही है. इस ददशा मे् उसने अपने बड़्ेपार्मनर कांग्ेस से स्पष््कह ददया दक दरकर बंरवारे का आधार 2012 दवधान सभा का चुनाव रहेगा. जो जहां जीता है, वह
वहां से लड़्ेगा. इसके बाद जो जहां दूसरे स्थान पर रहा है, वह वहां से लड़्ेगा. इस आधार पर रालोद के खाते मे्बहुत कम सीरे् आ रही है्. यही वजह है दक उसे बागपत और मथुरा भी प््भुत्व दमलने वाला नही् है. इसदलए अब यह दल गठबंधन की जगह अकेले चुनाव लडऩे की तैयारी करने लगा. इसकी जानकारी होने पर सपा ने रालोद को छोड़् देने का फैसला ले दलया. इसके बाद रालोद से बातचीत भी केवल कांग्ेस के दजम्मे रह गयी. सूत्ो्का कहना है दक राष््ीय लोकदल इस बातचीत मे्कम से कम तीन दज्मन सीरे् चाह रहा था. मथुरा और बागपत मे्तरजीह दमलने पर वह 30 सीरो् पर भी मानने को तैयार था, लेदकन कांग्ेस दसदरंग गेदरंग और नंबर दो के अलावा कुछ भी देने को तैयार नही्हुई. इसदलए यह गठबंधन होने से पहले ही रूर गया और रालोद ने अपने दम पर सूबे की सभी सीरो् पर चुनाव लडऩे का फैसला ले दलया. अब गठबंधन केवल सपा और कांग्ेस तक सीदमत रह गया. ऐसा माना जा रहा था
गठबंधन पर संकट
उतंरं ाखंड में कांगस ंे बनाम कांगस ंे
पेज 1 का बाकी प््त्यादशयो् के नाम घोदित दकये गये है्. दशवपाल यादव को जसवंत नगर से दरकर ददया गया है. आजम खान रामपुर से चुनाव लड़्े्गे. उनके बेरे अब्दुल्ला को स्वार से दरकर ददया गया है. नरेश अग््वाल के बेरे दनदतन अग््वाल को हरदोई से उम्मीदवार बनाया गया है.नरेश अग्व् ाल के बेरे दनदतन अग्व् ाल को हरदोई से दरकर दमला है जबदक बेनी वम्ाम के बेरे राकेश वम्ाम का दरकर कर गया है वे रामनगर से चुनाव लड़ना चाहते थे .दशवपाल के बेरे आददत्य को भी दरकर नही् दमला है . बाराबंकी के रामनगर से अदखलेश के करीबी अरदवंद गोप को दमला . उधर पार््ी सूत्ो्ने साफ्दकया दक मुलायम दसंह यादव समाजवादी पार््ी के प्च ् ार मे्जल्द उतरने जा रहे है. पहले इसे लेकर दुदवधा जताई जा रही थी. पर आजम खान से बातचीत के बाद मुलायम दसंह प्च ् ार मे्जाने के दलए तैयार हो गये है.
पेज 1 का बाकी मुख्यमंत्ी बनाया गया. स्थानीय कांग्ेस नेता हके्-बके् रह गये. उस वत्त के प््देश कांग्ेस अध्यक्् हरीश रावत संगठन और जनता की स्वाभादवक पसंद थे लेदकन खुलकर बगावत नही् कर सके. लेदकन परदे के पीछे रावत चुप नही् बैठे. उन्हो्ने सरकार की नाक मे् खूब दम दकया. भाजपा मे् सबकुछ ठीक हो ऐसा भी नही्है. उसकी सरकारो्मे्भी यही देखने को दमला. इस उठापरक का नतीजा है दक गांवगांव मे्एक भाई भाजपायी तो दूसरा कांग्ेसी हो गया. अब एनडी दतवारी भाजपा मे् आये् न नही्इसका कोई मतलब नही्त्यो्दक यहां तो खुद आडवाणी जैसे आदमी माग्मदश्मक बना ददये गये है्. हां यह जर्र है दक उत््राखंड के भाजपायी एक जमाने मे् यह नारा खूब लगाते थे दक ‘एनडी तेरे चारो ओर- रेता, बजरी, लकड़ी चोर’. शायद अदमत शाह को
दक 300 और 100 सीरो्के फाम्मूले पर सपा और कांग्ेस मे् तालमेल हो जायेगा लेदकन गुरव् ार को सपा ने साफ कर ददया दक दसदरंग गेदरंग और नंबर दो के आधार पर कांग्ेस की कुल 54 सीरे्बनती है. हम 20 और सीरे्दे सकते है्. इस अवसर पर राष््ीय उपाध्यक्् दकरणमय नंदा ने सपा के तीन चरणो्के 191 प््त्यादशयो्की सूची भी जारी की. इस ऐलान के बाद इस गठबंधन पर भी संशय के बादल मंडरा रहे है.् खासतौर से उन सीरो्पर लेकर जहां दपछले चुनाव मे् भी कांग्ेस को भी दवजय दमली थी, उन पर भी सपा उम्मीदवारो् के ऐलान के बाद माना जा रहा है दक इन दोनो् दलो् मे् भी तालमेल की संभावना समाप्त हो गयी है. वैसे दोनो् तरफ से अभी तक नेता तालमेल के दखलाफ तल्ख दरप्पणी से बच रहे है. कहा जा रहा है दक राजनीदत मे् कुछ भी संभव है. अनौपचादरक तौर पर कहा जा रहा है दक सपा का ऐलान कांग्ेस की बढ्ती मांग का जवाब है. शेि तालमेल को लेकर बातचीत भी चल रही है जो सकारात्मक ददशा मे्है. लगता होगा दक अब पहाड़् मे् दतवारी के शुभदचंतक हो्गे. मजेदार बात देदखये दक रावत ने हाल ही मे्दतवारी के साथ गढ्वाली गायक नरेद् ्दसंह नेगी को उत्र् ाखंड रत्न का सम्मान ददया. नेगी वही है् दजन्हो्ने दतवारी की लीला पर नौछमी नारेणा नामक लोकद््पय गीत रचा था. उन गीतो्का भाजपा ने खूब इस््ेमाल दकया. अदमत शाह खुश हो्गे दक उनके पास कई कद््ावर नेता आ गये, जो अपनी सीरे् दनकालने के साथ ही कुछ और पर असर डाले्गे, तो पार््ी के समथ्मक उन नारो् को दफन होते देख रहे हो्गे, जो कुशासन और भ््ष्ाचार को लेकर गढे गये थे. हरीश रावत को पार््ी के भीतर राह के अनेक कांरे दनकलने की ख़ुशी होगी, दफर भी लड़ाई उन्ही् लोगो् से है, जो अब तक बगल मे् ही बैठते रहे है.् जनता के हाथ मे्त्या है, दसवाय उन लोगो् के पीछे पागल बनने के दजनका दमशन त्लीयर है.
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20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
सीएम की रैली में आंगनबाड़ी की छुटंी
शुकंवार संवाददाता
भोपाल. प््देश के मुख्यमंत्ी दशवराज दसंह चौहान की 20 जनवरी को रीवा मे्होने वाली रैली मे्शादमल होने के दलए रीवा दजले और आसपास के सभी आंगनबाड़्ी के्द्ो्को दनद््ेश ददये गये दक वे उस ददन के्द्को बंद रखे् और सभी काय्मकत्ाम और सहादयकाये् रैली मे् मौजूदगी दज्म कराये्. यह आदेश बकायदा दजले के कलेत्रर और मदहला एवं बाल दवकास दवभाग की ओर से मौदखक र्प से ददये गये. इस दविय मे् दजलादधकारी से बात नही्हो सकी. जानकारी के मुतादबक आदेश ददया गया दक सभी आंगनबाड़्ी कम््ी कुछ लाभाद्थयम ो्के साथ मुख्यमंत्ी की रैली मे् पहुंचे्. उस ददन केद् ्पर पोिक आहार नही्भेजने की बात भी कही गयी. गौरतलब है दक प््देश के कई इलाके पहले ही कुपोिण से जूझ रहे है.् प्द् श े के श्योपुर दजले मे् गत अगस्-् दसतंबर माह मे्एक के बाद एक कई बच््ो्की कुपोिण से मौत हो गयी थी. उसके बाद सरकार ने वहां आनन-फानन मे् दनगरानी केद् ् की स्थापना की और श्त्े पत््लाने की बात कही. अदखल भारतीय जनवादी मदहला सदमदत की प््देश अध्यक्् शैला शुत्ला ने
पश््िम मे् कांग्ेस के शिए सपा ने छोड़ी कई सीट
फैसल फरीद
कहा दक इस प््कार आंगनबाड़्ी कद्ममयो् को रैली मे् आने का आदेश देना न केवल गैर लोकतांद्तक बक्लक गैर संवैधादनक भी है. उन्हो्ने कहा दक यह आदेश इस सरकार के बाल अदधकार दवरोधी चेहरे को भी उजागर करता है त्यो्दक इससे सबसे अदधक प््भादवत छोरे बच््ेही हो्गे. संगठन की महासदचव नीना शम्ाम ने कहा दक प््देश मे् दकसी मुख्यमंत्ी या मंत्ी की रैली के समय इस तरह से आंगनबाडी के्द्ो्को बंद रखने और पोिण आहार न देने
के मौदखक आदेश देने की प््वृद्त बढ्ती ही जा रही है. इसके अलावा स्कूलो् और कॉलेजो्को बंद कर छात््ो्और दशक््को्को भी रैदलयो्मे्बुलाया जा रहा है. गौरतलब है दक कुछ माह पहले राजधानी भोपाल मे् शौय्म स्मारक के उद्घारन अवसर पर जब प््धानमंत्ी नरे्द् मोदी दवशेि तौर पर भोपाल पहुंचे थे तब भी शासकीय कम्मचादरयो् को आधे ददन का अवकाश देकर इसी तरह भीड़् बढ्ायी गयी थी.
लखनऊ. समाजवादी पार््ी ने गुर्वार को चुनाव के पहले चरण के दलए प््त्यादशयो् को लखनऊ बुलाकर दसंबल प्द् ान कर ददये. प््त्यादशयो् को ददये गये फाम्म पर राष््ीय अध्यक््अदखलेश यादव के हस््ाक्र् है.् कुछ सीर कांग्ेस के दलए छोड़्ी गयी है्. पद््शमी उत््र प््देश की शामली, मुजफ्फरनगर की मीरापुर, दबजनौर की चांदपुर सीर कांग्ेस के खाते मे् चली गयी है्. गादज़याबाद की सादहबाबाद सीर अलीगढ की कोल सीर भी कांग्ेस को दमल गयी है. बागपत, मेरठ, गादजयाबाद, गौतम बुद् नगर, हापुड़्, बुलंदशहर, अलीगढ्, मथुरा, हाथरस, आगरा,मे्एक एक सीर कांग्ेस को दमली है. दफरोजाबाद, एरा, कासगंज मे् कोई सीर कांग्ेस को नही्दी गयी है . आज दजन लोगो् को दसंबल दमला है उनमे् शामली की कैराना सीर से नादहद हसन मुज़फ्फर नगर से गौरव मेरठ की दकथौर से मंत्ी शादहद मंजूर शहर से रफीक़ अंसारी ,सरधना से अतुल प्ध ् ान ,हद््सनापुर से प््भु दयाल वाल्मीदक मेरठ दद््कण से
आददल चौधरी गादज़याबाद लोनी से रशीद मदलक नोएडा की जेवर सीर से नरे्द्नागर अलीगढ शहर से ज़फर आलम छर्ाम से राकेश दसंह आदद शादमल है्.इन सीरो् पर 17 जनवरी से नामांकन शुर् है आदखरी तारीख 24 जनवरी है. इन सीर पर 27 जनवरी तक नाम वापसी की जा सकती है. यहां 11 फरवरी को चुनाव होने है्.
सुनवाई के लिए तीस््ा केस अवैध मांस कारोबार से जनता हलाकान
नयी ददल़ली. उच््तम न्यायालय ने आज कहा दक सामादजक काय्मकत्ाम तीस््ा सीतलवाड और उनके दो दववादास्पद गैर सरकारी संगठनो् के खाते सील करने की अहमदाबाद पुदलस की कार्मवाई को चुनौती देने वाली यादचकाओ् पर 21 फरवरी से अंदतम सुनवाई की जायेगी. न्यायमूद्तम दीपक दमश््ा और न्यायमूद्तम आर भानुमदत की पीठ ने कहा दक इन यादचकाओ् पर 21 फरवरी से अंदतम सुनवाई शुर् की जायेगी. गुजरात सरकार की ओर से अदतदरत्त सादलसीरर जनरल तुिार मेहता और सीतलवाद तथा उनके पदत जावेद आनंद की ओर से कदपल दसब्बल 21 फरवरी से सुनवाई करने के पीठ के सुझाव से सहमत हो गये. इस मामले मे् दपछली सुनवाई की तारीख पर गुजरात सरकार ने यादचका पर जवाब देने के दलये कुछ समय मांगा था. पीठ को आज सूदचत दकया गया दक इस मामले मे् पहले ही हलफनामा दादखल दकया जा चुका है. तीस््ा, उनके पदत और दो संगठन सबरंग ट््स्र और दसरीजंस फार जक्सरस एंड पीस ने गुजरात उच्् न्यायालय के सात अत्तूबर, 2015 के फैसले को चुनौती दे रखी है. उच््न्यायालय ने उनके दनजी बै्क खाते सील करने के दखलाफ दायर यादचका
अस्वीकार कर दी थी. गुलबग्म सोसायरी के दनवासी दफरोज खान पठान ने सीतलवाड और अन्य के दखलाफ दायर एक दशकायत मे् आरोप लगाया था दक 2002 के गुजरात दंगो्मे्मारे गये लोगो्की स्मृदत मे्इस सोसायरी मे्एक संग्हालय के दनम्ामण हेतु धन एकत्् दकया गया था परंतु इसका इस््ेमाल इस काय्म के दलये नही् दकया गया है. अ ह म दा बा द पुदलस की अपराध शाखा ि््ारा एक मामले की जांच शुर् करने के तुरंत बाद ही अहमदाबाद पुदलस ने यह कार्मवाई की थी. इस मामले मे् सीतलवाड और अन्य पर आरोप था दक उन्हो्ने सोसायरी को संग्हालय मे् तब्दील करने के दलये एकत्् 1.51 करोड र्पए की रकम का गबन दकया है. गुजरात मे् गोधरा कांड के बाद 2002 के दंगो् के समय इस सोसायरी मे्69 व्यक्तत मारे गये थे. उच््न्यायालय ने इस मामले मे्दनचली अदालत का फैसला बरकरार रखते हुये दरप्पणी की थी दक जांच महत्वपूण्म मुकाम पर है. इस मामले मे् गुजरात पुंदलस ने शीि्म अदालत मे् दादखल हलफनामे मे् आरोप लगाया है दक दंगा पीदडतो् की याद मे् संग्हालय के नाम पर एकत्् धनरादश का इस््ेमाल दनजी खच््ो के दलये दकया गया.
संजीव शंंीवासंंव
बहराइच. भारत नेपाल सीमावत््ी क््ेत् से लेकर अंतर्ामष्ीय राजमाग्म (र्पईदडहाबाराबंकी) के सभी प्म् ख ु हार बाजारो्कस्बो् समेत दजला मुख्यालय बहराइच की आवासीय बद््सयो् मे् दबना लाइसे्स अवैध मांस की दबक््ी से लोगो्मे्आक््ोश है. लोगो् का कहना है दक लगातार प््शासन से आपद््त दज्म कराये जाने के बावजूद जानवरो् को खुले आम कारे जाने व संकद्मत मांस दवक्य् के्द्ो्के संचालन पर प््दतबं न लगाये जाने से ददन प्द्तददन इनमे्इजाफा हो रहा है. दवदभन्न धाद्ममक व सामादजक संगठनो् ने इसके दखलाफ व्यापक जनआंदोलन खड़ा करने की तैयारी शुर्की है. अंतराष््ीय राजमाग्म-28सी पर बसे कस्बो् र्पईदडहा बाबागंज नानपारा मरेरा चैराहा दरदसया मोड़, बेगमपुर बहराइच नगर फखरपुर, कैसरगंज जरवल रोड व जरवल आदद बाजारो् मे् दपछले एक दशक मे् खुले आम जानवरो्को कार कर धड़ल्ले से बेचा जा रहा है. प््शासदनक रोक न होने से ददन प््दतददन इन दुकानो् मे् इजाफा हो रहा है. हालात बद से बदतर हो गये है्. अब तो नानपारा व बहराइच नगर के आवासीय मोहल्लो् मे् रहने वालो् मांस व्यवसाइयो् ने अपने आवासीय पदरसर को ही स्लारर हाऊस के र्प मे्दवकदसत कर दलया है जहां से आती असहनीय दुग्ंध से स्थानीय नागदरको्की दुश्ादरयां बढी ही है.् राह चलते लोग भी कदठनाईयो्से जूझ रहे है्. मांसाहारी पक््ी व जानवर आसपास के आवासीय बद््सयो् व घर आंगन तक मे् भीिण गन्दगी फैलाते रहते है्. बस््ी मे्बने मंददर- मक्सजद व गुरि् ्ारो्को इन मांसाहारी थलचर नभचरो् ने अस्थाई दठकाना बना दलया है दजसके
कारण दनयदमत अजान नमाज पूजा अनुष्ान यज््आदद मे्बाधा पहुंच रही है. बहराइच नगर के व्यस््तम माग्म र्पईदडहा दमही्पुरवा बसस्रैण्ड के दनकर मोहल्ला चांदपुरा बशीरगंज सलारगंज मछली मंडी जैसे आबादी क््ेत् वालो् मे् मछली बकरी मुग्ाम को कारकर सरे आम बेचा जा रहा है साथ ही संक्ामक रोग दनयंत्ण के्द् मलेदरया व फायलेदरया दचदकत्सालय के ठीक सामने भैसो्के कारने व दवक््य करने की दज्मनो्दुकाने्खुल चुकी है्. नागदरको् का कहना है दक इससे वातावरण तो दविैला हो ही रहा है जानवरो् को कारते समय उनकी बेबस आवाज से माहौल थर्ाम जाता है. इसका बुरा असर अल्पवयस्क बच््ो्वृद्ो्पर पड़ रहा है. उधर जबदक नगर दनगम का कहना है दक दशको् पूव्म आवासीय इलाको् से दूर स्लारर हाऊस का दनम्ामण दकया गया था जहां पर पादलका पदरिद से दनयुत्त पशु दचदकत्सादधकारी से दफरनेस पत््जारी दकये
जाने के बाद ही दनयत स्थलो्पर मांस दवक्य् व कांरने की व्यवस्था करायी गयी थी लेदकन कसाई व दचकवो्की दबंगई के आगे समूचा प्श ् ासन बेबस नजर आ रहा है. लोगो् का कहना है दक आवासीय बस््ी मे् मांस दवक्य् से संक्ामक रोग का प्क ् ोप फैलता जा रहा है प््दतवि्मदज्मनो्मौते्भी होती है्लेदकन प््शासन इन सबसे बेपरवाह बना हुआ है. धाद्ममक संगठनो् गायत््ी पदरवार सत्य सांई पदरवार आय्मसमाज दवश््दहन्दू पदरिद दहन्दू जागरण मंच दहन्दू युवावादहनी व सांई मंददर से जुड़े हुए आस्थावान जनो्के अलावा धम्मजागरण दवभाग के लोगो्ने प््शासन को आगाह दकया है दक यदद इन पर प््दतबंध न लगाया गया तो दजले मे्बड़्ा आंदोलन खड़ा दकया जायेगा वही् र्ल आफ ला सोसायरी व अदधवत्ता दवचार मंच से जुड़े हुए लोगो् बताया दक अवैध मांस व करान दवक््य संचालन के्द् पर प््दतबंध लगाने के दलए उच््न्यायालय मे्यादचका प््स्ुत करने की तैयारी चल रही है.
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वगरधारीलाल जोशी
20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
शराबबंदी का अगुआ बना बबहार
पटना. स्वामी दववेकानंद का कथन है, 'पहले हर अच्छी बात का मजाक बनता है. दफर दवरोध होता है और दफर उसे स्वीकार कर दलया जाता है.' नीतीश कुमार की शराबबंदी पर यह बात सरीक बैठती है. शराबबंदी की दबहार से उठी लहर अब दूसरे राज्यो्मे्भी असर ददखाती नजर आ रही है. इसकी कुछ बानगी हाल के ददनो्मे्देखने को दमली. गत मंगलवार को राजगीर मे् हुई कैदबनेर की बैठक मे्साल 2017- 2018 के दलए दबहार मे्चल रही 21 दडक्सरलरी (स्द्पर बनाने के कारखाने) के लाइसे्स का नवीनीकरण नही्करने का फैसला दलया है. इन स्द्पर से शराब बनती है. यह एक बड़ा और साहदसक फैसला है. दवपक्् लगातार इसकी मांग कर रहा था. और शराबबंदी पर कारखानो्को लेकर दचढा रहा था. कोर्मका हाल मे्जारी आदेश है. दजसके मुतादबक नेशनल और स्रेर हाईवे के इद्मदगद्म शराब की दुकानो्को पहली अप््ैल 2017 से हराना होगा. अब नये लाइसे्स जारी करने की मनाही होगी. इतना ही नही् 500 मीरर के दायरे मे्भी शराब की दुकाने्नही्खोली जा सकेगी. इस फैसले से मुख्यमंत्ी नीतीश कुमार के सात दनश््य मे्एक शराबबंदी को पूरा बल दमला है. और तभी अपनी चेतना यात््ा के अंदतम चरण मे्नीतीश कुमार सीना ठोक कर इसे जायज बता रहे है. और कह रहे है्दक इसके चलते दबहार मे्अपराध कम हुए है्. इतना ही नही् 21 जनवरी को 11 हजार 292 दकलोमीरर लंबी मानव श््ृंखला शराबबंदी के दहमायत मे्सूबे की सड़को्पर बन रही है. मुख्य सदचव अंजनी कुमार दसंह कहते है्दक दकसी सामादजक मसले पर यह
मानव शृंखला पर अदालत सखृत
इस बीच दबहार मे्शराबबंदी को लेकर 21 तारीख को आयोदजत मानव श््ृंखला को लेकर परना उच््न्यायालय ने एक जनदहत यादचका पर दबहार के मुख्य सदचव और पुदलस महादनदेशक को अदालत मे् पक्् रखने को कहा है. बुधवार को यादचकाकत्ाम के वकील शदशभूिण कुमार और सैयद अजहर नजमी ने अपनी दलील मे्स्कूली बच््ो्को इसमे् शादमल करने के आदेश को मानवादधकार कानून की अवहेलना करार ददया. 21 दुदनया की सबसे लंबी श््ृंखला होगी. इसके दलए तमाम सरकारी अमले को लगाया है. 17 जनवरी से जमुई से अंदतम चरण की चेतना यात््ा की शुर्आत कर मुंगेर, बांका होते हुए 20 को भागलपुर मे् सभा का आयोजन की जायेगी. इन सभाओ् मे् सात दनश््य के अलावा शराबबंदी मुख्य मुद्ा है. थानो् से लेकर सड़को् की दीवारो् तक पर शराबबंदी का नारा दलखा है. प््काश पव्मपर परना आये प््धानमंत्ी नरे्द् मोदी ने भी शराबबंदी पर नीतीश कुमार की तारीफ कर इनमे् और ऊज्ाम भर दी. तभी वह सभा मे् सीना ठोक शराबबंदी की सफलता का दावा करते है. और पूरे देश खासकर भाजपा शादसत राज्यो्मे्तो इसे लागू करने की मांग प््धानमंत्ी से चेतना यात््ा मे्कर रहे है. कह सकते है् दक इस मुद्े पर तारीफ अब नरे्द् मोदी के गले की हड््ी बन गयी है. उनके दावे मे्दकतना दम है. इस बहस से कोई लेनादेना नही्है. मगर उत््रप््देश के बुलदं शहर दजले की दसकंदराबाद तहसील के
ककोड़ इलाके के कपना गांव मे् 15 रोज पहले बैठी पंचायत का फैसले ने अदखलेश सरकार को सोचने पर मजबूर कर ददया है. पंचायत के मुदखया दगरे्द्दसंह का कहना है दक पंचायत ने केवल शराब पर ही रोक नही् लगाई है. बक्लक शराब पीने और बेचने पर सख्त जुम्ामना लगाने का ऐलान दकया है. प््ावधान के तहत दार् पीते पकड़े जाने पर 2100 और बेचते धरे जाने पर 5160 र्पये नगद पंचायत को बतौर जुम्ामना तत्काल देना पड़ेगा. शराब बेचने और पीने की सूचना देने वाले को पंचायत 500 र्पये इनाम भी देगी. इस फरमान का नोदरस गांव मे्दचपका ददया गया है. गांव के ज्यादातर बादशंदो् ने भी शराबबंदी पर हामी भरी है और पंचायत का फैसला अपने हक मे्बताया है. मुदखया दगरेद् ्दसंह बताते है दक शराब से कई पदरवार बब्ामद हो चुके है. हाल के सालो् मे्शराब ने ना केवल कई जाने्ली है बक्लक लोगो् की दजंदगी मे् परेशानी का कारण भी बनी. पहले तो दसफ्फ मदहलाओ् के जदरये
शराब का दवरोध होता था. लेदकन अब तो बड़ा तबका बंदी का दहमायती है.इसी वजह से एकजुर हो पंचायत ने फैसला सुनाया है. उत््रप््देश मे् चुनाव है. यह बड़्ा दविय बन सकता है. इससे आने वाली सरकार को सोचने पर मजबूर होना पड़ सकता है. मुख्यमंत्ी नीतीश कुमार के सोच पर ही कपना गांव की पंचायत ने भी काम दकया. मसलन दबहार की आवाज अब उत्र् प्द् श े के बुलदं शहर के गांव ने बुलदं की है. ददसंबर के अंदतम हफ्ते मे्यह संवाददाता राजस्थान के दौरे पर था. वहां के झुंझनु मे् एक स्थानीय नेता की होद्डिग चौराहे पर ददखी. दजसपर दलखा था ' हमे्चादहये शराब मुत्त झुंझनु.' इसी तरह जयपुर मे्एक होद्डि्ग ददखी ' नये साल का स्वागत शराब से नही् दूध से कीदजये.' इससे पहले ददल्ली सरकार ने भी शराबबंदी तो नही् की. मगर साव्मजादनक स्थानो्पर पीने की रोक लगाई है. कानून का उल्लंघन करने वाले को जुम्ामना देना होगा. शराबबंदी की ओर यह पहला कदम माना
छात््वृति घोटाले मे् जायेगी आईएएस की नौकरी!
संजय कुमार
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से रादश की दनकासी कर ली गयी थी. इसी मामले मे्राजू के अलावा कल्याण पटना. आदखरकार दबहार मे्अनुसदू चत दवभाग के तत्कालीन दवशेि सदचव सुरेश जादत-जनजादत छात््वृदत घोराला मामले मे् पासवानए सहायक दनदेशक इंद्जीत मुखज््ी दबहार के एक वदरष््आईएएस अदधकारी की और अन्य पर भारतीय दंड दवधान की धारा नौकरी खतरे मे् पड़ गयी है. दबहार सरकार आईपीसी की धारा 406, 409, 420, 467, ने भारतीय प्श ् ासदनक सेवा के 1991 बैच के 468, 471, 477ए, 120बी और भ््ष्ाचार अदधकारी और राज्य पदरिद के अपर सदस्य दनरोधक अदधदनयम के तहत ब्यूरो के थाना एस.एम.राजू को अनुसूदचत जादत-जनजादत मे्मामला दज्मदकया गया था. छात््ो्की दी जानी वाली छात््वृदत के घोराले लगभग 10 करोड़्र्पये के छात््वृदत मे् मे् 12 जनवरी को दनलंदबत दकये जाने की गड़्बड़्ी का मामला है. दबहार, आंध्प्देश, अनुशंसा के्द् से कर दी है. पंजाब, ओद्ड़सा, मध्यप््देश और तेलंगाना राजू समेत 16 लोगो् के दखलाफ राज्य सदहत दज्मनो् दशक््ण संस्थानो् मे् छात््ो् के सतक्फता अन्वेिण ब्यूरो के थाने मे् दपछले वि्म 21 ददसंबर को प््ाथदमकी दज्म की गयी वि्ममाच्ममे्मामले की जांच का दजम्मा ब्यूरो नामांकन के नाम पर गड़्बड़्ी हुई है. थी. ब्यूरो ने राज्य के बाहर तकनीकी दशक््ा को सौ्पा था. अनुसूदचत जादत-जनजादत के दनगरानी ने अभी केवल आंध्प्देश के के दलए अनुसूदचत जादत-जनजादत छात््ो्की उड़्ीसा के भुवनेश्र क्सथत एक तकनीकी तकनीकी संस्थानो् की जांच की है. शेि ् ान मे्पढ्ने गये दबहार के 60 से अदधक राज्यो्मे्जांच अभी बाकी है. वि्म2013-14 दी जानी वाली छात््वृदत के घोराले को लेकर संसथ छात््ो्को छात््वृदत नही्दमलने पर फीस की मे् 770 छात््ो् के बीच छात््वृदत का दवतरण प््ाथदमकी दज्मकी थी. ब्यूरो ने जांच के दौरान यह पाया था दक रादश भुगतान नही् होने के कारण उनका हुआ है. आरोप है दक छात््वृदत की रादश की श््ी राजू ने वि्म2013-14 मे्समाज कल्याण नामांकन रद््कर ददया गया था. छात््ो्ने जब हेराफेरी मे् समाज कल्याण दवभाग के दवभाग मे् प््धान सदचव के पद पर रहते हुए इस मामले की दशकायत दवदभन्न स््रो् पर अदधकादरयो्, तकनीकी संस्थानो् और अनुसूदचत जादत-जनजादत के छात््ो् को दी की तब पता चला दक तकनीकी संस्थान मे् स्वंयसेवी की भूदमका अहम है. रादश की जाने वाली छात््वृदत की रादश मे् बड़्े पैमाने पढ्ने वाले अनुसूदचत जादत-जनजादत के गड़्बड़्ी के दलए फज््ी शपथ पत्् देकर पर घोराला दकया है. राज्य सरकार ने दपछले छात््ो्के नाम पर बड़्ेपैमाने पर फज््ी तरीके घोराला दकया गया है.
परना, नवादा, बेदतया, सुपौल और खगद्ड़या दजलो् मे् छात््वृदत घोराले का मामला है. करीब 10 माह पहले राज्य अनुसूदचत जादत आयोग की रीम जब नवादा दौरे पर थी तब अम्बेडकर छात््ावास के छात््ो्ने दशकायत की दक दजले मे्201213 और 2013-14 मे् छात््ो् को छात््वृदत नही् दमली है. जबदक पोस्र मैद्टक छात््वृदत की करोड़्ो् की रादश की दनकासी फज््ी तरीके से कर ली गयी है. छात््ो् की यह दशकायत दनगरानी जांच की अनुशंसा का आधार बनी. वही्, ओद्ड़सा के भुवनेश्र क्सथत एक तकनीकी संसथ् ान मे्पढ्ने गये दबहार के साठ से अदधक अनुसूदचत जादत-जनजादत के छात््ो्की ओर से छात्व् दृ त के तौर पर दमलने वाली फीस का भुगतान नही् दकये जाने के कारण उनका नामांकन रद्् कर ददया गया था. छात््ो् ने जब इस मामले की दशकायत दवदभन्न स््रो् पर की तो पता चला की तकनीकी संस्थान मे् पढ्ने वाले अनुसूदचत जादत-जनजादत के छात््ो् के नाम पर बड़्े पैमाने पर फज््ी तरीके से रादश की दनकासी कर ली गयी.
जनवरी को सवा दस बजे से दोपहर तीन बजे तक वाहनो् की आवाजाही पर रोक लगाने को मौदलक अदधकारो् का हनन बताया गया. अदालत ने भी यह माना दक ्ृं ला ू ो्मे्पढ्ने जाते है्उनको श्ख बच््ेस्कल मे्शादमल करने का त्या अथ्महै? दरअसल मापूरी दबहार सरकार मानव श््ृंखला को कामयाब बनाने के दलए पूरी दबहार सरकार ही लग गयी है. इस रोज सूबे दबहार के हर स्र् के सरकारी अफसर और कम्मचादरयो्को मुस्ैद रहने का आदेश है.
जाना चादहये. गुजरात मे्1960 से शराबबंदी लागू है. अबतक शराब बेचना, पीना मना है. पकड़े जाने पर 200-500 र्पये का जुम्ामना और एक से छह महीने की जेल का प््ावधान है. दबहार के कानून मे्10 लाख तक का जुमा्नम ा और सात से 10 साल जेल का दनयम है. गुजरात सरकार ने इसी तज्मपर अपने कानून मे्संशोधन दकया है. दजसके तहत ज्यादा से ज्यादा 10 साल जेल और 5 लाख र्पये दंड का प््ावधान दकया गया है. जादहर है गुजरात भी दबहार की तज्मपर थोड़ा सख्त होने जा रहा है. यह अलग बात है दक दबहार मे्दंड के प््ावधान ज्यादा ही सख्त है. दजस पर लोगो् से सुझाव मांग राज्य सरकार ने संशोधन के संकेत ददये है. यह ठीक भी है. मगर शराबबंदी के दबहार सरकार खास कर नीतीश कुमार के दनश््य का फैसला नये साल मे्लगता है देश के दलए नये युग की शुरआ ् त सादबत हो सकता है. दूसरे सूबो्मे्उठ रही आवाज तो यही बताती है.
भाजपा पर बरसे ससद्् चंडीगढ़. कांग्ेस ज्वॉइन करते ही नवजोत दसंह दसद््अकाली-भाजपा सरकार पर जमकर बरसे. उन्हो्ने प््ेस कांफे्स के दौरान कहा दक पूरे पंजाब पर 3 लाख करोड़् का कज्महै. इनमे्से 1 करोड़्88 लाख दसफ्फ पंजाब सरकार पर ही है. बादलो्ने यह कज्म दनजी स्वाथ्मके दलया है. उन्हो्ने कहा पंजाब मे्लीकर मादफया माफ कर रहा है. मै्चाहता हूं दक पंजाब के युवा नशे की लत छोड़्कर सही रास््ेपर चले्और दजंदगी मे्उन्हे्एक लक््य दमले. इसके दलए मै्कुछ करना चाहता हूं और इसदलए सत््ा मे्आना चाहता हूं. मेरे दपता कांग्ेसी थे और इसदलए मे्भी पैदायशी कांगस ्े ी हू.ं कांगस ्े मे्लौरकर मुझे काफी सुकून दमला है. अब इसी कांग्ेस के साथ दमलकर पंजाब को दवकास की ओर ले जाना है. दसद्् ने कहा दक पंजाब मे् 12 हज़्ार 500 शराब के ठेके है्और शराब के ठेके से दसफ्फ5 हजार करोड़्की कमाई होती है. पंजाब रोडवेज 400 करोड के घारे मे्है तो दनजी ट््ास ं पोर्मकरोड़्ो्के मुनाफे मे्त्यो्? बादलो् ने पंजाब मे् नयी-नयी स्कीमो् के नाम पर जमकर लूरा है और पंजाब सरकार का जो नुकसान हुआ है वो बादल पदरवार के जेब मे्गया है.
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चेन्नई बनी चै्पियन
फंजल इमाम मलंललक
ओ
सिंधू ने इि िेमीफाइनल मुकाबले मेंबेहतरीन संमैि, उमंदा
बढ्ाया. प््ीदमयर बैडदमंरन लीग मे् चेन्नई स्मैशस्म की तरफ से खेल रही् दसंधू और अवध वादरयस्मकी तरफ से खेल रही सायना के बीच पीबीएल के पहले सेमीफाइनल मे् दश्मको्ने मैच का पूरा लुत्फ उठाया. दोनो्के बीच पीबीएल के इदतहास मे् यह पहला मुकाबला था और दरयो ओलंदपक रजत दवजेता दसंधू ने लंदन ओलंदपक की कांस्य पदक दवजेता सायना को हराकर सादबत कर ददया दक वे इस समय भारतीय बैडदमंरन की दनद्वमवाद त्वीन है्. दसंधू ने मैच के दौरान अपने बेहतरीन ड््ाप शार से सायना को लगातार छकाये रखा. पूव्मनंबर एक सायना ने हालांदक मैच मे् कई अच्छे स्मैश लगाये लेदकन उन्हो्ने बार बार गलदतयां भी की्. मैच का पहला अंक दसंधू के नाम रहा और दफर सायना ने 1-1 से बराबरी की. पहले गेम मे्7-7 की बराबरी के बाद दसंधू ने लगातार चार अंक लेकर पहला गेम 11-7 से दनपरा ददया. दूसरे गेम मे्दसंधू ने आक््ामक शुर्आत करते हुए 6-3 की बढ्त बना ली. सायना ने वापसी करते हुए स्कोर 5-6 दकया. इसके बाद दसंधू ने 48 शार की मैराथन रैली को अपने बेहतरीन ड््ाप से समाप्त करते हुए अंक जीता और 7-5 से आगे हो गई्. दसंधू ने अंक बरोरते हुए स्कोर 9-5 कर ददया. सायना ने दफर अंतर घराया और स्कोर को 8-9 पर ले आई् लेदकन दसंधू ने जबरदस्् स्मैश लगाते हुए स्कोर 10-8 दकया और दफर 11-8 से गेम और मैच जीत दलया. मैच के बाद सायना ने कहा दक दसंधू ने बेहतर खेल ददखाया और कोर्म पर उनका
लंदपक रजत पदक दवजेता पी.वी.दसंधु की रीम चेन्नई स्मैशस्म पंलेसिंग, दरंशनीय डंंाप राट लगाए और िायना की चुनौती तोडंी. ने प््ीदमयर बैडदमंरन लीग (पीबीएल) के सिंधू की चपलता के आगे िायना नहींसटक पाईं. सिंधू की तेजी दूसरे संस्करण की चै्दपयन बनने का गौरव और चपलता का जवाब िायना के पाि नहींथा. हादसल दकया. राजधानी के सीरी फोर्मइंडोर स्रेदडयम मे् खेले गये रोमांचक फाइनल मे् चेन्नई ने मुंबई रॉकेट्स को 4-3 से हरा कर दसंधू की चपलता के आगे सायना नही्दरक असहज ददखी्. वे कोर्म पर बेहतर तरीके से ट््ॉफी के साथ तीन करोड़् र्पये की इनामी पाई्. दसंधू की तेजी और चपलता का जवाब मूव नही् कर पा रही् थी् और दसंधू ने अपने रादश पर कब्जा जमाया. चेन्नई और मुंबई के सायना के पास नही् था. सायना कोर्म पर चमकदार प्द् श्नम से सेमीफाइनल का रोमांच बीच मुकाबला रोमांचक रहा. मुंबई ने 0-3 से दपछड़्ने के बाद फाइनल मे् वापसी की. चेन्नई ने अपने शुर्आती दो मुकाबले जीत कर बढ्त बनाई सतपाल, दवजे्िर और हरे ्द् को श््ेष्ता पुरस्कार सम्मान ममता माड्मन स्कूल की प््धानाचाय्म पल्लवी शम्ाम थी लेदकन मुंबई ने वापसी की और फाइनल ददल्ली स्पोट्स्मजन्मदलस्र एसोदसएशन (डीएसजेए) ने और मैनेजर मनोज शम्ाम ने प््दान दकया. ददल्ली के को रोमांचक बना डाला. फैसलकुन मुकाबले अपने वाद्िमक पुरस्कार समारोह मे् सुपर स्रार मुके्बाज प््दतभाशाली युवा दवकेरकीपर बल्लेबाज ऋिभ पंत को मे्चेन्नई ने मुंबई को मात देकर पीबीएल का म ष ्े ्उभरते दखलाड़्ी के दलये चुना गया लेदकन वह इस दवजे्दर दसंह को साल के श््ेष्दखलाड़्ी, दवश््कप दवजेता सव्श दूसरा सीजन अपने नाम दकया. चेन्नई ने समय भारत ए की तरफ से मुंबई मे् इंग्लै्ड के दखलाफ कोच हरे्द् दसंह को साल के श््ेष् कोच और कुश्ती गुर् दमत्सड डबल्स मुकाबले मे् जीत दज्म की. अभ् य ास मैच मे्व्यस््होने के कारण काय्मक्म मे्शादमल महाबली सतपाल को लाइफ राइम अचीवमे्र पुरस्कार से ट््ंप मुकाबले मे् चेन्नई की द््कस एडकॉक नही् हो सके. इस अवसर पर डीएसजेए की वेबसाइर और गैिद्रएल एडकॉक की जोड़्ी ने मुबं ई की डब्लय् ड ू ब्लय् ड ू ब्लय् ड ू ारडीएसजेऐस्पोट्सड म् ॉरइन को भी लांच दनपथफोन फ्यांगफ्यफ ू रे और नाददजेद दजएब दकया गया. महाबली सतपाल ने इस मौके पर अपने की जोड़्ी को 11-9, 11-6 से मात देकर रीम अनुभवो्को साझा दकया और कहा दक मै्आज जहां हूं वह को 2-0 से आगे कर ददया. खेल पत््कारो् की वजह से हूं. उन्हो्ने कहा दक अगर मेरे दसंधू ने मदहला दसंगल्स मे् अपना योगदान को मीदडया मे्जगह नही्दमलती तो मै्आज इस कमाल जारी रखते हुए दद््कण कोदरया की मुकाम पर नही्होता. सुंग जी ह््ून को सीधे गेमो् मे् 11-8, 11-8 दवजे्दर ने खेल पत््कारो् से अपील की दक वे ग््ामीण से हरा कर रीम को 3-0 से आगे कर ददया. प््दतभाओ्को भी सामने लाये्और उनके बारे मे्भी दलखे्. दसंधू पीबीएल मे् बेहतरीन लय मे् ददखी्. कोच हरे्द् ने अपने अनुभव बांरे. इस अवसर पर वदरष्् उन्हो्ने दुदनया की तमाम राप शरलरो् को खेल पत्क ् ारो्को खेलो्मे्उनके योगदान के दलये डीएसजेए हरा कर अपनी लय बरकरार रखी. ने सम् म ादनत दकया. इन पत्क ् ारो्मे्हरपाल दसंह बेदी, रौशन नवाजा. राजधानी के कांस्रीट््ूशन त्लब मे् आयोदजत सेमीफाइनल मे्दसंधू ने सायना नेहवाल को से ठ ी, वी श् ी ् वत् स , के व ल कौदशक, के दत््ा, जगन्नाथ राव, सम्मान समारोह मे् दवजे्दर ने महाबली सतपाल के हाथो् हराया था. सायना और दसंधू लंबे समय के के प ी मोहन, एस सं थ ानम, आशु तोि राय, मनोज बाद एक-दूसरे के दखलाफ खेल रही् थी् स्पोट्स्म पस्मन ऑफ द इयर का पुरस्कार ग््हण दकया. चत्मुवेदी,कुलदीप लाल, अर्ण जैन, कुलदीप राठौर और सम्मान समारोह का आयोजन ममता माड्मन स्कूल के इदसलए सेमीफाइनल के इस रोमांचक सुरेश कौदशक शादमल है. डीएसजेए के अध्यक््चंद्शेखर सहयोग से दकया गया. मुकाबले को देखने के दलए दश्क म बड़्तादाद भारत को 15 साल बाद जूदनयर दवश््कप का दखताब लूथरा ने अपने संबोधन मे् कहा दक यह संगठन जक्सरस मे्स्रेदडयम मे्थे. लोढा सदमदत की दसफादरशो्को अपने यहां भी लागू करेगा दसंधू ने इस सेमीफाइनल मुकाबले मे् ददलाने वाले कोच हरे्द् ने महाबली सतपाल को और अगले कुछ महीने मे् संगठन के नये चुनाव कराये लाइफराइम अचीवमे्र पुरस्कार से सम्मादनत दकया. हरे्द् बेहतरीन स्मैस, उम्दा प्लेदसंग, दश्मनीय ड््ाप को उनकी शानदार उपलक्बध के दलये सव्मश्ेष् कोच का जाये्गे. शार लगाए और सायना की चुनौती तोड़्ी.
खेल डायरी
मूवमे्र धीमा था. दसंधू ने कहा दक यह एक बेहतरीन मैच था दजसमे् लंबी रैदलयां चली् और उन्हे् खुशी है दक उन्हो्ने यह मैच जीत दलया. दसंधू ने फाइनल मे्भी अपनी लय जारी रखी और अपनी दद््कण कोदरयाई प्द्ति्ि्ं ्ी को कभी भी कोर्मपर सहज होने नही्ददया और आसानी से मुकाबला जीत कर रीम की बढ्त पक््ी की लेदकन मुंबई ने पुर्िो्का डबल्स मुकाबला जीत कर वापसी की. ली यो्ग डे और दनपथफोन की जोड़्ी ने द््कस एडकॉक और मैड्स दपयर कोक्लडंग को 12-10, 116 से मात देकर रीम की मैच मे् वापसी कराई. दफर पुर्िो् के दसंगल्स मुकाबले मे् भारत के दो ददग्गज दखलाड़्ी आमने-सामने थे. मुंबई की तरफ से यह मुकाबला खेलने एच.एस.प््णय उतरे तो चेन्नई ने पर्पल्ली कश्यप को कोर्मपर उतारा. दोनो्ने बेहतरीन प््दश्मन दकया. प््णय ने पहला गेम 11-4 से जीता लेदकन कश्यप ने दूसरा गेम 11-8 से जीत कर बराबरी की. दनण्ायम क मुकाबले को प््णय ने 11-8 से अपने नाम कर रीम को बराबरी ददला दी. दनण्ामयक मुकाबले मे् चेनन् ई के तानोनसाक सेनसोमवुनसुक पहला गेम अजय जयराम से 9-11 से गंवा बैठे थे लेदकन दफर वे रंग मे्आयेऔर कुछ बेहतरीन स्मैश और ड््ाप शार लगा कर उन्हो्ने दूसरा गेम 11-7 से दनकाला. तानोनसाक सेनसोमवुनसुक ने तीसरे गेम को एकतरफा बना डाला. हालांदक अजय ने कुछ गैरजर्री गलदतयां भी की् लेदकन तानोनसाक सेनसोमवुनसुक ने अपने खेल को सही समय पर ऊंचाई देकर 11-3 से मैच अपने नाम कर चेन्नई को चै्दपयन बनाया.
दिल्ली वेवराइडस्ष की अगुआई करे ्गे र्दपंिर पाल दसंह
हाकी इंदडया लीग मे् ददल्ली फे्चाइजी ने ददल्ली वेवराइडस्मरीम की कप्तानी युवा ड््ेग दफल्कर र्दपंदर पाल दसंह को सौ्पी है. र्दपंदर ने बतौर ड््ैग क्फलकर दवश्् मे् अपना पहचान बनाई है और रीम को उम्मीद है दक उनकी अगुआई मे् ददल्ली की रीम हाकी लीह मे् नई ऊंचाई को छुएगी. हाकी इंदडया लीग 21 जनवरी से शुर् होगी और इसका फाइनल 26 फरवरी को खेला जाएगा. ददल्ली ने इस सत्् के दलए बारह भारतीय और आठ दवदेशी दखलाद्ड़यो्को रीम मे्शादमल दकया है. हाकी इंडया लीग मे् छह रीमे् आपस मे् दभड़्े्गी और पहले चार स्थान पर रहने वाली रीम अंदतम चार मुकाबलो् मे् दहस्सा ले्गी. रीम मे् इस बार कुछ नये दखलाद्ड़यो् को शादमल दकया गया है, दजनमे् दद््कण अफ््ीका के आक्सरन क्समथ, अज््ेरीना के मैनुअल ि््ुनेर, बेक्लजयम के दवंसे्र वनेश और भारत के दवकास ददहया, मंदीप अंदरल और परदीप दसंह शादमल है्. सेद्डक दडसूजा को रीम का मुख्य कोच बनाया गया है.
भारतीय अंडर-19 द््िकेट टीम मे् मयंक
इंग्लै्ड अंडर-19 रीम के दखलाफ भारतीय अंडर -19 द््ककेर रीम मे् ददल्ली के युवा दखलाड़्ी मयंक रावत का चयन दकया गया है. मयंक मुबं ई मे्होने वाले पहले अभ्यास मैच मे् भारत अंडर-19 की तरफ से इंग्लै्ड अंडर-19 के दखलाफ खेले्गे. मैच 28 जनवरी को खेला जाना है.
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पय्ाावरण
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संकट मे् सीतासागर तालाब का वजूद
अवनल वसंदूर
के बाद रामचंद् बुंदेला ने रामसागर तालाब बनवाया. इस बारे मे्कई बार वह कलेत्रर ददतया से दमल चुके है् रामचंद् का काय्मकाल सन 1707 से 1733 था. राजा लेदकन तमाम दलीलो्के बाद भी कोई काय्मवाही अमल रामचं द्बुदं ल े ा की मृतय् ु के बाद उनकी पत्नी रानी सीताजू मे्नही्लाई गई प््शासन मे्दमली दनराशा के बाद ही उन्हे् दबन मांगे वायु दमली, दबन मांगे ही नीर. बु द ं ल े ा ने सीतासागर तालाब बनवाया था दजसका क्त्े फ ् ल उच्् न्यायालय मे् आना पड़ा है. उच्् न्यायालय ने मोल न समझा आदमी, यही प़़कृदि की पीर.. क््प््श्न आज भी जस-के-तस खड़े है्मृत्यु सबको लगभग 800 एकड़ था. सैकड़ो्एकड़ तालाब अब दसमर आदेश ददया दक एक बार दफर वह अपना पक््कलेत्रर ददतया के सामने रखे्. यादचकाकत्ामओ् को अपना पक्् आनी है लेदकन कोई मरना नही्चाहता, दजंदा रहने कर दहाई के मे्हो गया है. 14 दसतम्बर 2015 मे्ददतया के तीन वकीलो्राजेश रखने तथा कलेतर् र को काय्वम ाही करने के दलये 45 ददन के दलये खाना सबको खाना है, अन्न उगाना कोई नही् चाहता, इसी तरह पानी सब पीना चाहते है्पर कोई संचय पाठक गणेश पांडेय तथा दीपू शुत्ला ने एक जनदहत समय ददया गया. यादचकाकत्ामओ् ने 15 ददन के अंदर अपना पक्् नही् करना चाहता. पानी के संचय की तो बात दूर वि््ो् यादचका उच्् न्यायालय ग्वादलयर मे् दादखल की और पुराने स््ोतो्पर स्वाथ््ो्के चलते अदतक्म् ण कर उन्हे्नष्् मांग रखी दक सीतासागर तालाब के रकबे को कलेत्रर ददतया के समक््रखा लेदकन कलेत्रर ददतया अदतक््मणकादरयो् से मुत्त करा, आजादी के बाद वि्म ने उच््न्यायालय के आदेश की अनदेखी करते हुए कोई जर्र करना चाहता है. लगभग 300 वि्म पूव्म मध्य प््देश राज्य के ददतया मधंय पंदं र े दसतया के पंथं म रािक की छोटी िी सरयाित पहाडोंतथा जंगलोंके शहर को पानी की संकर से दनजात ददलाने को ददतया के महाराज ने महारानी सीता के नाम पर सीतासागर तालाब बीच सिरी बडोंनी िे रुरंहुई थी लेसकन िमापंत ओरछा के रािक बनने पर का दनम्ामण करवाया था लेदकन स्वाथ््ी तत्वो्ने उच््तम हुई. दसतया राजंय के अंग बुनदं ल े खणंड राजंय की नींव कनंनौज के गुजरशं न्यायालय के आदेशो् को भी अनदेखा कर उस पर भी पंसंतहारोंतथा चनंदल े ोंने डाली थी. अपने घर बना दलये और इस अपराध मे्तंत्साधना की देवी पीताम्बरा माई को भी शादमल कर दलया दजसकी 1947 की क्सथदत मे्लाया जाये दजससे नागदरको्को पानी काय्मवाही नही् की. यादचकाकत्ामओ् ने 45 ददन मे् कोई आड़ मे्अपने अपराधो्को बचाया जा सके. काय्मवाही न दकये जाने पर अवमानना की काय्मवाही को मध्य प््देश ददतया के प््थम शासक की छोरी सी की उपलब्धता बनी रहे. उच्् न्यायालय ने यादचकाकत्ामओ् से प््श्न दकया अमल मे्लाने के दलये उच््न्यायालय को आवेदन ददया. दरयासत पहाड़ो्तथा जंगलो्के बीच दघरी बड़्ोनी से शुर् उच्् न्यायालय ने कलेत्रर ददतया के दखलाफ हुई थी लेदकन समाप्त ओरछा के शासक बनने पर हुई. त्या आपने ददतया के प््शासन को तालाब पर होने वाले म ्ने बताया अवमानना की काय्मवाही का नोदरस कलेत्रर को ददया ददतया राज्य के अंग बुंदेलखंड राज्य की नी्व कन्नौज के अदतक्म् ण के बारे मे्बताया है. यादचकाकत्ाओ गुज्मर-प््दतहारो् तथा चंदेलो् ने डाली थी. सबसे पहले बुदं ल े ा राजा र्दप् त् ाप ने अप्ल ्ै 1531 मे्बुदं ल े ो्की प्द्सद्् राजधानी ओरछा की नी्व रखी. राजा र्द्प्ताप की मृत्यु के उपरांत उनके ज्येष् पुत् भारतीचंद् ने ओरछा का राजपार संभाला. भारतीचंद् ने 1531 से 1554 तक शासन दकया. उनकी मृत्यु के बाद पुत् न होने के कारण अनुज मधुकर शाह ओरछा के शासक बने दजन्हो्ने 1554 से 1592 तक शासन दकया. राजा मधुकर के आठ पुत् थे. वीर दसंह बुंदेला उन्ही् आठ पुत्ो् मे् से एक थे. वीर दसंह बुंदेला को बडो्नी का शासक बनाया गया. वीर दसंह ने बडो्नी को अपना मुख्यालय न बनाकर ददतया को मुख्यालय बनाया. वीर दसंह ने शासन ददतया से शुर् कर ओरछा तक का सफर तय दकया. उन्हो्ने अपने पुत् भगवान राय को ददतया का प््थम शासक बनाया. भगवान राय के पुत्शुभकरन बुंदेला जब ददतया के शासक बने तब उन्हो्ने पहले तालाब की नी्व रखी. तालाब का नाम करनसागर रखा गया. करनसागर तालाब लगभग 250 से 300 एकड़ मे्फैला हुआ था. शुभकरन बुंदेला ने सन 1640 से 1678 तक राज दकया. शुभकरन
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बावजूद अवमानना नोदरस ददतया कलेत्रर उच्् न्यायालय से समय लेते रहे. कलेतर् र ददतया के रवैये पर उच्् न्यायालय ने कलेत्रर ददतया श््ी कुमार को 19 ददसम्बर 2016 को व्यक्ततगत उपक्सथत होकर अपना पक्् रखने का सख्त आदेश ददया. आदेश की गंभीरता को देखते हुए कलेतर् र ददतया ने आनन-फानन मे्124 अदतक््मणकादरयो्को धारा 248 एम.एल.आर.सी. बेदखली का नोदरस ददया लेदकन बेदखल नही् दकया. उच्् न्यायालय से राहत न दमलती देख प््शासन ने 74 अदतक््मणकादरयो्के दखलाफ जेल वारंर जारी दकये और 10 को दगरफ्तार कर जेल भेज ददया साथ ही 20 रीमे् गदठत की दजससे तालाब क््ेत् मे् अदतक््मण करने वाले दचक्नहत दकये जा सके्. प््शासन की गदठत रीमो्के सामने सबसे बड़ी मुक्शकल यह है दक उन्हे् नही् मालूम है दक तालाब का रकबा दकतना है त्यो्दक प््शासन के पास असली नत्शा ही नही्है. तालाब मे् तो भू-मादफयाओ् ने तो अपना कमाल ददखाया ही है सरकारी दवभागो्ने भी तालाब मे्अदतक्म् ण कर अपना नाम अदतक्म् णकादरयो्की फेहदरस््मे्अपना नाम दज्मकरवाया है. अभी हाल ही मे्पुदलस कद्ममयो्के दलये एक आवासीय कॉलोनी का दनम्ामण करवाया गया है. पानी के स््ोतो् को बचाये रखने को उच््तम न्यायालय के आदेश है्दक पानी के स््ोतो्को न बेचा जा सकता है और न खरीदा जा सकता है यदद कोई ऐसा करता है तो उसे बेदखल कर सख्त काय्मवाही दक जाये. बावजूद आदेश के सीतासागर तालाब मे्सरकारी दवभागो् के गोदाम, दवदध कॉलेज, सरकारी छात््ावास, सरकारी पाक्फ, पीताम्बरा पीठ मंददर का बड़ा दहस्सा भी अपना कब्जा जमाये हुए है. मंददर न्यास आज भी अदतक््मण वाले क््ेत्मे्दनम्ामण करने से बाज नही्आ रहा है. तालाब की जमीन पर हो रही खेतीप््शासन ने भी उन्ही्लोगो्पर काय्मवाही की है जो सीतासागर तालाब के चारदीवारी पर अपनी दुकाने्बनाकर अपना व्यापार कर रहे है्. इनमे् से 74 अदतक््मणकादरयो् के दखलाफ एसडीएम वीरे्द्करारे ने दसदवल जेल सुपुद्मवारंर जारी दकये है्. प््शासन ि््ारा बनाई गई रीमो् ने 160 अदतक््मणकादरयो् को और खोज दनकाला है दजसमे् से 56 अदतक््मणकादरयो्को दसदवल वारंर जारी दकया गया है. अदतक््मणकादरयो्के दखलाफ प््शासन की काय्मवाही से अदतक््मणकारी बौखला गये और उन्हो्ने जनदहत यादचका दादखल करने वाले वकील राजेश पाठक के घर पथराव तक कर ददया. (इंदडया वाटर पोट़टल)
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20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
इस पटकथा का लेखक कौन है?
अजीत अंजुम दतहास –पुराण और परंपरा इस बात का गवाह है दक हर दौर मे्जमाने ने ऐसे ही बेरे को हीरो माना दजसने हर हाल मे् दपता की आकांक्ाओ् और महत्वाकांक्ाओ् का सारथी बनकर काम दकया है. दपता ने भले दपतृधम्मका दनव्ामह न दकया हो लेदकन बेरे ने पुत् धम्म का दनव्ामह करने मे् कभी कोई कोताही न वरती हो. अगर दपता ने कभी बेरे के साथ नाइंसाफी, बेईमानी और बदसलूकी भी की तो बेरे ने झुककर कबूल दकया हो. हर दौर मे्जमाने ने ऐसे ही बेरे को हीरो माना भले ही उसके दपता ने उस दौर मे्अपने बेरे के दलए दवलेन जैसा काम भी दकया हो, लेदकन दपता मुलायम दसंह यादव और पुत् अदखलेश यादव की कहानी सतयुग, ि््ापर, त््ैता से लेकर कलयुग तक की सभी कहादनयो्से अलग है. बेरे ने बाप से बगावत की, बेरे ने बाप की दसयासी जमीन को देखते –देखते उनके पैरो् के नीचे से खी्च दलया. बेरे ने बाप की बनाई उस पार््ी पर कब्जा कर दलया, दजसका एक एक नेता और काय्मकत्ाम कभी बाप के सामने सजदे दकया करता था. बाप अपने बेरे से जूझता हुआ बेचारा और बेजार होकर घर बैठ गया और बेरे ने अपने बाप की पार््ी का दसंबल और झंडा लेकर यूपी दवजय
इ
वफरदौस खान
रा
जधानी ददल्ली मे् जल संकर कभी भी क़हर बरपाने लगता है. हाल मे्कड़ाके की ठंड के बावजूद लोग पानी की बूंद-बूंद के दलए तरस गए. हालांदक ददल्ली सरकार ऐदतहादसक बावद्ड़यो् और तालाबो् को पुनज््ीदवत करके जल संकर से दनपरने की क़वायद मे्जुरी है. यमुना के पानी मे् अमोदनया की मात््ा बढने की वजह से कई ददन तक जलशोधन नही् हो पाया. ददल्ली के बड़े जलशोधन संयंत् वज़ीराबाद, ओखला, ि््ारका जलशोधन संयंत् और चंद्ावल जलशोधन संयंत् को बंद कर ददया गया. वज़ीराबाद जलशोधन संयंत् की क््मता 124 दमदलयन गैलन (एमजीडी) है, जबदक ओखला की जलशोधन क््मता 20 एमजीडी, ि््ारका की क््मता 43 एमजीडी और चंद्ावल की 98 एमजीडी है. इनके बंद होने से ददल्ली मे्जल संकर गहरा गया. यमुना नदी मे् अमोदनया की मात््ा 3.8 पाट्स्म प््दत दमदलयन (पीपीएम) बढी हुई थी, जो दनध्ामदरत मानक 0.02 पीपीएम से कई गुना ज़्यादा है. अगर अमोदनया की मात््ा 0.5 पीपीएम या उससे ज़्यादा होती है, तो यह पानी सेहत के दलए काफी नुक़सानदेह हो सकता है. अगर उच्् अमोदनया युत्त पानी मे् शोधन के दलए त्लोरीन दमलाया जाये, तो यह कै्सर पैदा कर सकता है. अमोदनया रंगहीन तीखी गंध वाली गैस है, जो जल मे् दवलेय है. इसकी प््कृदत क््ारीय होती है. अमोदनया गैस बहुत दविैली होती है. इसे सूंघने पर जान तक जा
पर अश््मेघ यात््ा पर दनकलने का ऐलान कर ददया.कोई और बेरा होता तो जमाने की नजर मे् वो दवलेन होता और बाप के साथ सहानुभूदतयो्का अंबार. लेदकन यहां कहानी ठीक उलर है. जमाना बेरे के साथ है, बाप सबकुछ खोकर भी एकाकी है. बेरा अपने बाप का सब कुछ छीनकर जनता की नजर मे् हीरो है और बेरे से अपनी दजंदगी की सबसे बड़्ी जंग हार कर भी बाप जनता की नजर मे्सहानूभूदत का पात््नही्है. बाप को बेदखल करके उसकी दसयासी जमीन अपने झंडे गाड़्ने वाला बेरा अगर अदखलेश यादव की जगह कोई होता तो भी त्या ऐसा ही होता? त्या बाप के बेचारेपन और लाचारी पर बेरे की महत्वाकांक्ा के दखलाफ लोगो्मे् आक््ोश नही्होता? शायद जर्र होता अगर बाप के तख्तापलर की इस दसयासी दास््ान के दकरदार मुलायम दसंह यादव और अदखलेश यादव न होते. तो दफर अदखलेश यादव मे्ऐसा त्या खास है? त्यो्ऐसा है दक महीनो्तक अपने दपता की मंशा के दखलाफ खुल्लम खुल्ला लड़्ने और खुलेआम बगावत के बावजूद अदखलेश यादव से दकसी को दगला नही्है. बीते चार – पांच महीनो् से पदरवार के बीच चल रहा ये संघि्मसड़्क पर है. आरोप –प््त्यारोप कैमरो् के सामने लगाये गये है्.
बाप ने पहले बेरे के दखलाफ कार्मवाई की, दफर बेरे ने अपने समथ्मक नेताओ् और काय्मकत्ामओ्की सभा बुलाकर बाप की कुस्ी पर कब्जा कर दलया. दफर बाप ने बेरे को पार््ी से दनकाल ददया. दज्मनो् बार सुलह – समझौते की नाकाम कोदशशो् के बाद दोनो् लड़्ते-लड़्ते चुनाव आयोग की चौखर तक पहुंचे. दोनो्ने एक दूसरे को दशकस््देने के सारे दांव चले लेदकन जीत आदखरकार बेरे की हुई. हारा हुआ बाप अब घर बैठकर अपने चंद समथ्मको्की दलस्र बेरे के पास दभजवा रहा है. बेरे अपने बाप को अपना सबकुछ मानते –कहते हुए आशीव्ामद लेने जा रहा है. कुछ इस अंदाज मे्दक खून तो आपका ही हूं, पूजनीय है्आप लेदकन पार््ी मे्वही होगा जो मै्करं्गा. बाप-बेरे के बीच जो कुछ हो रहा है, जमाना देख रहा है. दफर भी अदखलेश से दकसी को दशकायत नही् ... त्यो् ? मै्ने बीते चार महीनो् मे् सैकड़्ो् लोगो् से बात की है और अब भी करता हूं. सब यही मानते है् दक अदखलेश ने जो दकया ठीक दकया. बाप बेआबर्होकर बेरे से हार जाये दफर भी बेरे को जमाना दोिमुत्त मानकर उसके साथ हो बहुत बड़्ी बात है. पांच साल मुख्यमंत्ी रहे अदखलेश यादव ने आदखरी एक साल मे् दजस ढंग से अपनी पादरवादरक लड़्ाई मे्
एसर्मदकया और अपनी बात मनवाने के दलए अपने दपता के दखलाफ बागी तेवर अक्खतयार दकये, उससे उनकी छदव दबल्कल ु अलग बनी है. चार साल तक कहा जाता रहा दक यूपी मे्साढ्ेपांच सीएम है्, दफर साढ्ेतीन सीएम की बात कही गयी. हर इंररव्यू मे्अदखलेश से इस बारे मे्सवाल दकये गये. वो हंसकर जवाब देते रहे लेदकन आदखरी साल मे् उन्हो्ने सादबत कर ददया है दक पार््ी और सरकार चलाने मे् अब वो पूरी तरह सक््म है्. वो अपनी मज््ी से बड़्ेफैसले लेना चाहते है्. चाचा-ताऊ और बापू की बात वो सुनकर तो सकते है् लेदकन आंख मूदकर उसपर अमल करके रबर स्रांप बने नही्रह सकते. मौके की नजाकत का डर अगर उन्हे्होता तो चुनाव के ऐन पहले वो हालात के सामने सरे्डर कर देते और बाबू –ताऊ से दमलबांरकर दरकर बांरने और सत््ा मे्भागीदारी का कोई रास््ा दनकला लेते. लेदकन अदखलेश पूरी लड़्ाई के दौरान न दसफ्फदनडर ददखे बक्लक आत्मदवश््ास से लबालब ददखे. जो होगा – देखा जाएगा वाले अंदाज मे् ददखे. कभी रीवी कैमरे के सामने बड़्ी बड़्ी डी्गे् हांकते या अपने दपता के दखलाफ अपमानजनक बाते्करते नही्ददखे. दपता के दलए दो शब्द भी बोले तो सम्मान की सारी
कब तक िानी को तरसेगी पदल्ली
सकती है. दपछले साल यमुना मे् अमोदनया का स््र 2 से 2.5 पीपीएम पाया गया था. ग़ौरतलब है दक हदरयाणा से ददल्ली को रोज़ाना तक़रीबन 1000 त्यूसेक पानी दमलता है. इसमे् से तक़रीबन 650 त्यूसेक पानी कदरयर-लाइंड चैनल (सीएलसी) से और बाक़ी 350 त्यूसेक पानी कच््ी नहर से दमलता है. कदरयर-लाइंड चैनल से आने वाले पानी मे् ज़्यादा अमोदनया नही् होता, जबदक कच््ी नहर से आने वाले पानी मे् अमोदनया की संभावना बहुत ज़्यादा होती है. ददल्ली को ज़्यादा पानी की आपूद्तम करने वाली सीएलसी डैमेज हो गयी और कच््ी नहर के पानी मे् अमोदनया की ज़्यादा मात््ा पायी गयी. इस वजह से ददल्ली को दोहरी मार झेलनी पड़ी. ददल्ली मे् आये ददन लोगो् को जल संकर का सामना करना पड़ता है, कभी कही् पानी का पाइप रूर जाता है, तो कभी कोई और परेशानी खड़ी हो जाती है. यमुना के पानी मे्अमोदनया की मात््ा का बढना सबसे बड़ी परेशानी है. त्यो्दक पाइप लाइन की मरम्मत कुछ वक़्त मे् हो जाती है, लेदकन
है. पानी पीने लायक़ नही् होता. दूदित पानी से जल जदनत बीमादरयां फैलने की आशंका बनी रहती है. जल संकर से लोगो् को कुछ राहत ददलाने के मक़सद से ददल्ली जल बोड्म ने राजधानी मे्क्सथत बावद्ड़यो्और तालाबो्को बचाने की योजना बनाई है. इदतहासकार सुहैल हाशमी का मानना है दक बावद्ड़यो् और तालाबो् का पानी बचाने से लोगो् को कभी भी पानी की कमी नही् होगी. पुराने वक़्त मे् बावद्ड़यो् और तालाबो् को ख़ासा ध्यान ददया जाता था. लेदकन अब इनकी अनदेखी की जाती है, दजसकी वजह से ये जल स््ोत सूख रहे है्. दद््कणी ददल्ली क्सथत गंधक की बावड़्ी 1975 मे् सूख गयी थी, लेदकन जब इसकी साफ-सफाई की गयी और जल संचयन पर ध्यान ददया गया, तो अब उसमे् पानी आ गया. इसी तरह नई ददल्ली के कनार प्लेस के पास क्सथत अग््सेन की बावड़्ी मे् भी पानी आ रहा है्. ज़्यादातर जगहो् का भूदमगत पानी पीने है. कुछ वक़्त पहले पुराने दक़ले की बावड़्ी लायक़ नही्है. जहां का पानी अच्छा है, वहां भी पानी से लबालब भर गयी. भारतीय पर हस्च ् ादलत नल लगवाने मे्बहुत ज़्यादा पुरातत्व सव््ेक्ण दवभाग के एक अदधकारी लागत आती है. इसदलए लोग जल बोड्म की का कहना था दक बावड़्ी की सफाई करके जल आपूद्तम को ही तरजीह देते है्. जल बोड्म दमट््ी दनकाली गयी, तो इसका वास््दवक ि््ारा अकसर गंदे पानी की आपूद्तम की जाती जल स््ोत दमल गया और बावड़्ी मे्पानी भी
अमोदनया के पानी का शोधन नही्दकया जा सकता. दपछले साल भी इसी ठंडे मौसम मे् ददल्ली के बादशंदो्को पानी के दलए कई ददन तक परेशान होना पड़ा था. तब भी यमुना मे् अमोदनया की मात््ा बढ गयी थी, दजससे वज़ीराबाद और चंद्ावल जलशोधन संयंत्ो् को बंद कर गया था. ददल्ली की आबादी जल आपूद्तम पर दनभ्मर करती है. यहां भूदमगत जल स््ोत कम
ववचार
रेखाओ् के दायरे मे् रहकर बोले. दपता ने अपने मुखय् मंत्ी बेरे को पार््ी से दनकाल ददया तब भी बेरे ने एक शब्द ऐसा नही्बोला, जो दपता के सम्मान के दखलाफ जाये. हां, वो पूरी तैयार के साथ पार््ी पर अपने कब्जे की लड़्ाई को अंजाम देने मे् जुरे रहे. दपता के दखलाफ दबना एक शब्द बोले पार््ी को ‘ कुछ लोगो्“ से मुतत् कराने का दबगुल फूक ं ते रहे. आदखरकार हुआ वही, जो अदखलेश चाहते थे. एक चाचा के दखलाफ अदखलेश लड़्ाई लड़्रहे थे और दूसरे चाचा के साथ दमलकर रणनीदत तय कर रहे थे. ‘तीसरे चाचा’ ने मौका, माहौल लड़्ाई का अंजाम देखकर खुद को नेप्थय मे् ले जाना ही बेहतर समझा... अब चंद कमजोर कंधो्के अलावा करीब –करीब पूरी पार््ी अदखलेश यादव के साथ है. घर-पदरवार के जो चंद लोग साथ नही् है्, उनका भी इस अंदतम सत्य से साक््ात्कार हो गया है दक अब नेताजी की जगह बेराजी का राज है. घर की लड़्ाई जब चहारदीवारी से बाहर सड़्क पर लड़्ी जाने लगी तो यूपी मे्कहा जाने लगा दक अदखलेश यादव अब बीएसपी और बीजेपी से त्या लड़् पाये्गे, जब घर मे् लड़्ते –लड़्ते हलकान हो रहे है्. बाप-बेरे और चाचा उम्मीदवार जब आपस मे्एक दूसरे की जड़्े्खोदे्गे तो बाकी पेज 16 पर
आने लगा. अगर ददल्ली की अन्य बावद्ड़यो् और तालाबो् पर ध्यान ददया गया, उनकी साफ-सफाई की गयी, उनकी मरम्मत की गयी, तो वे भी पानी से भर सकती है.् अनुमान है दक हर तालाब पर 15 से 20 लाख र्पये और हर बावड़्ी पर डेढ् से दो करोड़ र्पये की लागत आयेगी. एक दरपोर्म के मुतादबक़ ददल्ली मे् तक़रीबन 794 बावद्ड़यां है्. ददल्ली सरकार के मुतादबक़ राजधानी मे् 629 तालाब है्, दजनमे् 453 को ही पुनज््ीदवत दकया जा सकता है. जल संकर से दनजात पाने के दलए जल संचयन पर ज़ोर देना होगा. इसके साथ ही पानी की दफज़ूल बब्ादम ी को रोकना भी ज़र्री है. जहां पय्ामप्त मात््ा मे् पानी है, वहां पानी को बब्ादम करने का दसलदसला जारी है. बहुत से लोग ज़र्रत से ज़्यादा पानी का इस्म्े ाल करते है.् जो काम एक मग पानी से हो सकता है, उसके दलए कई बाल्री पानी बहा ददया जाता है. ऐसे मे् एक तरफ पानी दफज़ूल मे् बह रहा है और दूसरी तरफ लोग पीने के पानी तक के दलए तरस रहे है्. दफज़ूल मे् पानी बहाते वक़्त एक बार उन लोगो्के बारे मे्भी सोच लेना चादहये, दजन्हे्पानी की बूदं बूंद के दलए तरसना पड़ता है. कुछ ही वक़्त बाद गम््ी का मौसम शुर् हो जायेगा और ददल्ली को ज़्यादा पानी की ज़र्रत होगी. ऐसे मे् पानी की ज़र्रत को पूरा करना एक बड़ी चुनौती होगी. बहरहाल, जल संकर के मद््ेनज़र पानी की बब्ामदी कम करने के दलए जल संरक््ण पर भी काम करना बेहद ज़र्री हो गया है.
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20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
जायरा वसीम के बहाने
धनंजय वसंह यरा केवल 16 साल की है्. आम रीनएजस्मकी तरह उनकी इंस्राग््ाम प््ोफाइल भी चहकती हुई सी है. फेसबुक पर भी केवल तस्वीरे् ही ददखती थी्, लेदकन फेसबुक पोस्र बवाल के बाद इन तस्वीरो् को हरा दलया गया है. हालांदक, उनके पास आदमर खान जैसा सुलझा हुआ मे्रर है, दजससे वो दकसी मुद्े पर मशदवरा कर सकती है्, लेदकन हमे्याद रखना चादहये दक वो कश्मीर मे् रहती है्. वही कश्मीर जहां महबूबा मुफ्ती की दसयासत शुर्हुई थी सरकारी गोली से मरे युवाओ्के घर कुरान की प््दत भे्र करने और उनके संघि््ो्मे्साथ खड़े रहने के वायदे के साथ और अब परवान चढी है भाजपा के गठबंधन मे् मुख्यमंत्ी की कुस्ी तक पहुंच कर. वही कश्मीर जहां फार्ख अब्दुल्ला जब सत््ा मे्होते है्, तो लगता है की काशी मे्भी इनसे बड़ा राष््वादी पंदडत नही्होगा और जब दवपक्् मे् आते है् तो लगता है की हुद्रमयत का दडत्रेर करवाया गया भािण पढ रहे हो्. कश्मीर मे् महत्वपूण्म पद पर रह चुके ले. जनरल. (दररायड्म) अता हसनैन साहब से लेकर आदमर खान, जावेद अख्तर, अनुपम खेर, गौतम गंभीर जैसे तमाम लोग क्टवरर पर जायरा के पक््मे्खड़े है्, त्यो्दक वो कश्मीर से बहुत दूर बैठ कर इंररनेर चला रहे है्. हां, ओमर अब्दुल्ला जब कहते है् दक ‘एक 16 साल की लड़की को महबूबा मुफ्ती से दमलने के चलते ट््ोल दकया जा रहा है जो गलत है, उसे माफी मांगनी पड़ी, हम कहां आ गये’ तो उनको तो हकीकत मालूम ही है. ये लोग उसे साइबर लठैतो् के मुकादबल मजबूती से खड़े रहने की सलाह दे रहे है्, लेदकन बात त्या साइबर लठैतो्या ट््ोल्स तक ही सीदमत है? कुछ लोग ‘बहादुर’ मलाला युसुफजई को याद करते हुए जायरा पर लानत भेज रहे है् दक उसने माफी त्यो् मांगी. वो लोग भूल रहे है् दक मलाला द््िदरश एजे्ट्स की सुरक््ा के बीच अब द््िरेन से अपनी ‘क््ांदत’ कर रही है. उसका मामला दूसरा है. उसको नोबल के बहाने हम भूल बैठे है् उन हजारो् बच््ो् को जो फज््ी आतंक के दखलाफ युद् के नाम पर मारे गये, अपादहज हुए और अनाथ हो
जा
गये. अमेदरका मलाला को हाथो् हाथ लेता है और हम भूल जाते है् उन स्कूलो् को जो उसके बमो्की जद मे्आये. क़या जायरा का मुद़ा इस़लादमकअन इस़लादमक बहस का है? कश्मीदरयत मे्हाल के वि््ो्मे्नये ढंग के मजहबी घुसे है्, त्यो्दक उनका मकसद कुछ और है लेदकन जायरा की ट््ोदलंग को इस्लाम के नाम पर कोई दूसरा एंगल देने वाले भूल जाते है् की उसने दजस पात्् को परदे पर दजया उसके वयस्क र्प का अदभनय भी फादतमा सना शेख नाम की अदभनेत्ी ने दकया. शाहर्ख़ खान की दबदरया की भी कुछ ऐसी तस्वीरे् सामने आ ही चुकी है्, जो मजहबी दहसाब से कही् से भी ठीक ठहराने लायक नही्है्, लेदकन त्या जायरा का मुद्ा इस्लादमक-अन इस्लादमक बहस का है? जी नही्, मामले का मजहब से कुछ लेना देना ही नही्. सोशल मीदडया पर कोई भी दकसी को कुछ भी कह देता है, त्यो्दक यहां असल समाजवाद है. यहां सारे वग्म-भेद दमर चुके है् और सबको अपनी बात रखने का हक़ है तो उसे दबाने वाले भी सद््कय है्.
9 मुद्ा
और शांत वाले दहस्से मे् भी बैठ कर पोस्र करने वालो्पर साइबर लठैतो्के हमले होते है्. इनबॉत्स से लेकर साव्मजदनक र्प से गादलयां दी जाती है्. जबदक लेना-देना कुछ नही्होता. वहां तो एक लंबी लड़ाई ही चल रही है जो लाइक-कमे्ट्स के बहुत ऊपर की बात है. अब यह भी ठीक नही्होगा दक उसे इसदलए चौबीस घंरे संगीनो्की पहरेदारी मे् रख दलया जाये दक वह फेसबुक पर अपने मन मादफक पोस्र कर सके. अच्छा हो अगर महबूबा ही कह दे् दक वह कभी जायरा से दमली ही नही् और जो तस्वीरे् आई है्, सब फेक है्. लेदकन यह कोई समाधान तो होगा ही नही्. जायरा का अगला प़़ोजेक़ट ‘सीक़्ट सुपरस़टार’ बहुि कुछ कहिा है. लेदकन जब इस पर तमाम एंगल के साथ मीदडया मे् चच्ाम शुर् ही हो गई है तो एक एंगल दमस्रर परफेत्सदनस्र आदमर खान के ददमाग वाला भी मेरे भीतर आ रहा है. ज़ायरा अगस््मे्दरलीज होने वाले उनके अगले प््ोजेत्र ‘सीके्र सुपरस्रार’ मे् भी उनके साथ है्. इसका रीजर देखा तो लगा की कही् यह सब भी अगले प््ोजेत्र का ही दहस्सा तो नही्? एक स्कूल गल्म (ज़ायरा) को अम्मी जादहर है दक एक दकशोरी का अपने सूबे के बाद भी हाल मे् ही आये दसवी् के दरजल्र डांर रही है्तो बच््ी बोलती है-अम्मी सपने मुख्यमंत्ी से दमलना उसके जीवन की बड़ी मे्जायरा ने 92% अंक प््ाप्त दकये है्. याद देखना तो बेदसक होता है, इतना तो सबको घरना होती है, भले ही अपने स्कूल और रहे दक यह स्कूली सत््बच््ो्के दलए काफी एलाउड होना चादहये ’. अगले सीन मे् तमाम लोगो् की नजर मे् वो सेदलि््ेरी त्यो् भयावह रहा है, दजसमे्काफी लंबी बंदी और उसके अब्बा दगरार के तार उखाड़ते ददखते स्कूलो्को जलाये जाने की घरनाये्हुई है्. है्, सीन बदलता है दजसमे्वही दकशोरी बुक्े न बन गयी हो. इन सबका तनाव उसके ऊपर भी रहा मे् दगरार बजा कर गाते हुए अपना वीदडयो कभी महबूबा घारी मे् उग््पंदथयो् को मेनस्ट्ीम मे् अपनी आवाज लगती थी्, ही होगा, दफर भी उसकी कामयाबी पर फख्् यूट्ूब पर अपलोड करती है. लेदकन भाजपा के साथ कुस्ी पर बैठ जाना आज़ादी द््िगेड के दलए बड़ा झरका था. एक मदहला होने के नाते भी वह आधी आबादी की पसंद होने लगी है्, भले ही आगे उनका राजनैदतक हश््जो भी हो. घारी मे्रहकर भी उन्हो्ने सुरक््ाबलो्की गोदलयो्से घायलो्के बारे मे्दूध-रॉफी वाला जो बयान ददया था, वह भी लोगो् को चौ्काने वाला था ऐसे मे् उनसे दमलने जायरा का जाना और तस्वीरो् का मीदडया मे्छा जाना कही्से भी आज़ादी द््िगेड के मुफीद नही्, त्यो्दक ऐसी तस्वीरे् बच््ो् के ददमाग पर काफी असर करती है् और उनका इंदडया से कनेत्शन बढाने मे् सहायक होती है्। अभी कुछ ददन पहले कुछ छोरी बद््चयो्की क्तलदपंग देखी थी, दजसमे् वो रराये गये नारे अरकते हुए बोल रही करने की जगह तमाम दूसरी बातो्की दफक्् इस वीदडयो को देख कर म्यूदजदशयन थी्की- ‘मोदी से चादहये आज़ादी, महबूबा करने वालो् ने उसे दनशाने पर दलया और बने आदमर का डायलाग आता है- ‘पसंद से चादहये आज़ादी, ददल्ली से चादहये हार कर अभी सफलता का पहला पायदान आया तो लाइक करो, ना पसंद है तो रेस्र आज़ादी’. ये इतनी छोरी थी् दक इस नारे ही देख रही लड़की को माफी मांगनी पड़ चे्ज करो. ’ का न तो मतलब समझती हो्गी, न ही गयी. दुःख की बात है दक उसे कहना पड़ा इस बहस को इसी पंचलाइन के साथ महबूबा और मोदी को पहचानती हो्गी. वे दक जो उसने दकया है, उस पर उसे गव्मनही् ही छोड़े जाना ठीक रहेगा, त्यो्दक जानेकेवल प््ोपगंडा मशीन के हाथो् का एक है, न ही वह कश्मीर के युवाओ् की रोल अनजाने हम सभी अब प््ोपगंडा मशीन से औजार मात्् थी्, दजससे हवा बनाये रखी मॉडल बनना चाहती है. वो नही्चाहती की ही अपना एजे्डा भी चुनने को दववश हो गये लोग उसको फॉलो करे्. उसने अपनी पोस्र है् तो जायरा ने तो अभी दुदनया देखनी ही जाये. जायरा के पुराने इंररव्यू से पता चलता हरा ली है. शुर्की है. हां, शुभकामनाएं उसको दक जो माफीनामे पर आश़़य़ट क़यो़? है की उसके घर वाले भी दसनेमा मे् काम चाहे दमलता रहे और फेसबुक पर पोस्र लोग कह रहे है् दक वह डर गयी है, दलखकर दडलीर करना कोई बड़ी बात नही् करने से नाराज थे, लेदकन स्कूल के लोगो् और एक दरश्तेदार के समझाने पर वो लोग जबदक उसके साथ पूरा देश खड़ा है, इस और अगर बात जान पर आ जाये तो माफी तैयार हुए. मुंबई मे्ही अदधक समय देने के नाते डरना नही् चादहये और डर कर मांग कर दकनारे हरना भी गलत नही्, बाद और ऐसी दवधा मे् जो उसके दलए मुकाबला करना चादहये . कैसे भाई? वो तो त्यो्दक जान है तो जहान है, दजसमे् सुकून एकदम नयी थी, परफेत्र अदभनय करने के कश्मीर मे् है्, बाकी दहन्दुस्ान के सुरद््कत के रास््ेमे्तमाम इम्तेहान है्.
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शैलेश
20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
सफ्र मंे दि्ंिगी की खोज
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डेनमाक्फ और न्यूयाॅक्फ के अलावे वॉदशंगरन, है, जो आज भी देश की ज्यादातर संपद््त का मादलक है. बद्मं्घम, लेस्रर, जोहान्सबग्म (साउथ अफ््ीका), बद्मं्घम मे् उन्हे् अंग्ेजो् का एक उदार और सव्ामदधक आस्ट्ेदलया और हमारे दबल्कुल पड़्ोसी भूरान को एक समभाव का चेहरा ददखाई देता है- वही् से केरल पहुंचे नये नज़्दरये से देखने की कोदशश की गयी है. रंगभेद और लोकद््पय भवन-दनम्ामण दवशेिज्् लॉरी बेकर का सेवा नस्लभेद के दखलाफ आंदोलन के दौरान साउथ अफ््ीका भाव. दहंदी मे्यात््ा वृत्ांत काफी दलखे गये है्. जाने-माने का कस्बा सौवेरो मूल दद््कण अफ््ीकी दनवादसयो् के संघि्मके सबसे बड़्ेके्द्ो मे्से एक था. यहां गोरी पुदलस सादहत्यकार दनम्मल वम्ाम ने अपने कई संस्मरणो् मे् स्थानीय जीवन और उसकी दवदशष््ता की गोदलयो् से अनेक काले दद््कण का दचत्् खी्चा है. उद्ममलेश ने दवदेशअफ््ीकी मारे गये थे. रंगभेदी शासन यात््ा के अपने संस्मरणो् को भारत की के खत्म होने के बाद उद्ममलेश यहां वस््ुक्सथदत से जोड़् कर उसे और भी द्ज़न्दगी की नयी आहर और ददलचस्प बना ददया है. ऑस्ट्ेदलया के सामादजक सम्बन्धो् की नयी रोत््ानेस्र ि््ीप की उनकी यात््ा एक संभावनाओ् की तलाश करते है् सैलानी का अनुभव भर नही है बक्लक लेदकन दनराशा ही हाथ लगती है. ऑस्टद्ेलया मे्अंगज ्े ो के दमन चक््और अब यहां एक नये आतंक का राज है. स्थानीय लोगो्के खात्मे की कहानी है. यह गरीबी से भले ही उपजा हो, अंगज ्े ो्की बब्रम ता की यह कहानी भारत लेदकन इसका रंग काला ही है. मे्अंगज ्े ो्के आत्याचार की याद ददलाती इन यात््ा वृत्ांतो् मे् दजंदगी का है. ऐसी बब्रम ता का उदाहरण है-पद््शम एक प््वाह है. वैसे ही जैसे पानी से आॅस्ट्ेदलया का रोत््नेस्र ि््ीप. सोलहवी् लबालब कोई नदी शांत होकर बहती शताब्दी मे्यहां सबसे पहले डच पहुंचे जा रही है. सहज भािा, शब्दो्से दचत्् प््िस्टपे नया मेरी जान: उप्मलि शे ; आधार थे. दफर यूरोप के कुछ अन्य देशो् के उकेरने की दक्त् ा और जहां संभव हो प्क् ाशन, एसीएफ-267, सेकट् र 16, िं च कू ल ा, हपरयाणा; 200 र् ि ये . लोग गये. रोत््नेस्र के मूल दनवासी अपने देश से तुलना इस दकताब को ददलचस्प बनाते है्. स्थानो् और समाजो् के वण्मन के नूंगर लोगो्पर उन्हो्ने भारी जुल्म दकया. उन्हे्बेरहमी से मामले मे् उद्ममलेश बेहद मौदलक और सृजनात्मक है्. यातना दे-देकर खत्म दकया गया. दजन जेलो्और काल द््कस्रदे नया मे्अगर यूरोप के अंदर यूरोप से अलग दुदनया कोठदरयो्मे्उन्हे्कैद करके रखा गया, वे उस भयानक ददखती है तो भूरान मे्तस्वीर का दूसरा पहलू ददखाई देता अत्याचार की गवाह के र्प मे् आज भी वहां खड़्ी है्. है. अपनी दवदशष््ता दज्म कराने के दलए ‘सकल उद्ममलेश ने अपने इन संस्मरणो् मे् यूरोप-अमेदरका की खुशहाली सूचकांक’ को प््चादरत करने वाले मुल्क मे् आज की चमक-दमक के पीछे छुपे उनके पुराने गुनाहो् लोकतंत् पर सवार सव्मसत््ावादी राजशाही ददखाई देती को बहुत प््ामादणक ढंग से रखने की कोदशश की है. इन
मुल्को् की चमक-दमक के पीछे एक डरावना और दागदार इदतहास भी है. आमतौर पर इन दवकदसत देशो्मे् भ््मण पर आये एदशयाई लोग इनकी प््गदत की चमकदमक और आधुदनक स्वर्प देखकर अचंदभत होते है्पर उद्ममलेश ने इस दवकास के पीछे के उपदनवेशवादी चदरत्् और दमन-शोिण के दसलदसले को भी तलाशने की कोदशश की है. द््िरेन के अपने य़ात््ा वृत्ांत मे् उद्ममलेश अपने पाठको्को लंदन, लेस्रर और बद्मं्घम सदहत वहां के कई शहरो् मे् ले जाते है्. वहां वे जनतंत् का जमीनी आधार ददखाते है्. दवदभन्न धम््ो् और समुदायो् के लोगो् मे्सहकार और सद््ाव के आधार की भी दशनाख्त करते है्. बद्मं्घम की सोहो रोड पर उन्हे् एक भरा-पूरा लघुभारत ददखाई देता है. द््िरेन मे्पंडादगरी और पुरोदहती का इस तरह का वण्मन संभवतः पहली बार दकसी लेखक ने अपने वृत्ांत मे् दकया है. द््िरेन की दहंदू-आबादी मे् पंडादगरी-पुरोदहती का धंधा वैसे ही फल-फूल रहा है जैसे भारत मे्. उद्ममलेश की ये यात््ाएं महज भूगोल नापने से कुछ अदधक है्. नयनसुख के दलए सुंदरता दनहारने से ज्यादा है्. दरअसल, ये यात््ाएं हमे् मनुष्य और समाज की दवकास-यात््ा के दवदवध आयामो्से र्-ब-र्कराती है्. इन सभी यात््ाओ् मे् एक चीज जो समान है, वह हैअलग-अलग जगहो् मे् दजन्दगी की तलाश. ये यात््ाएं बहुत सीदमत समय और पत््कादरता के दवदशष््प््योजन के दलए हुए दौरो् के दरम्यान की है्, इसदलए वे अपने वृत्ाांतो मे् कई जगह लगभग भागते हुए महसूस होते है्. पर यह दकताब की कमजोरी नही्लगती. एक तरह से यह भागमभाग इस दकताब की दवशेिता बन जाती है और उसे बोदझल होने से बचाती है.
मां ि््ारा संतान पर, ‘दजस ददन वह बच््ा बड़ा होगा और शारीदरक र्प से उससे कमज़ोर है्) के प््दत आक््ामक शारीदरक र्प से प््दतकार के कादबल होगा, वह दबसूरते होकर अपने भीतर से बाहर दनकालने की कोदशश करता क पुर्ि पदत कुछ एक बरस साथ रहने के बाद हु ए अपना गाल सहलाने की बजाय मां के उठे हुए हाथ है. इसके पीछे मुख्य कारण उसकी पत्नी के मुखर यह सूंघ लेता है दक वह दकस ‘जादत’ या ‘दकस्म’ की औरत के साथ है. वह जानता है दक अपनी पत्नी को न दसफ्फपीछे धकेल देगा, बक्लक प््कारांतर से बचपन प््दतवाद की अनुपक्सथदत है.’ उनकी चद्चमत कहानी को सज़ा देने का सबसे बेहतरीन तरीक़ा या नुस्खा मे् दमले सारे तमाचो् को मूल और ब्याज सदहत लौरा ‘अन्नपूण्ाम मंडल की आदखरी दचट््ी’ महानगर के ठारत्या है. उसे दकतने नुकीले या दकतने भोथरे औजार दकस देगा.‘ यह कही्भी स््ी के स््ी होने के मलाल को नही् बार की मृग मरीदचका मे् फंस कर वहां ब्याह दी गयी् तरह से इस्म्े ाल करने है.् वह जानता है दक अपनी पत्नी कहती है, बक्लक उस दपतृसत््ात्मक व्यवस्था के दख़लाफ छोरे कस्बो् की नवब्याहताओ् की शारीदरक-मानदसक दुग्मदत का अभूतपूव्मआख्यान है. पर शारीदरक बल का इस्म्े ाल कर या उसे चांरा मारकर एक शालीन प््दतरोध है जहां स््ी दूसरा खंड ‘दजसके दनशान वह उतनी तकलीफ नही् पहुंचा सकता, दजतनी उसकी को अभी तक एक सामान्य इंसान नही् दीखते’ एक बेहद नामालूम उपेक्ा या अवहेलना कर.’ (एक औरत की नोरबुक) तक न मानने की दज़द ज़ारी है. इसी खंड मे् उनकी एक और सूक्म दकस्म की मानदसक सुधा अरोड़ा की वैचादरक लेखो् पर आधादरत प््ताड़्ना के दविय मे्बात करता है दक़ताब ‘एक औरत की नोरबुक’ को पढते हुए पाठक कहानी ‘तीसरी बेरी के नाम’ मे् और उन अदृश्य चोरो् का एक शहरी मध्यवग््ीय स््ी के जीवन की उन दवपदाओ् आदख़री पैराग््ाफ कहता है: ‘पर सु न मे र ी बच् ी ् ! अपनी करी हु ई हैरतअंगज े खुलासा करता है जो तब से र्बर् होता है दजन्हे् न केवल दुदनया बक्लक खुद हथे द लयां न फै ल ाना उस बनाने तक पू र ी तरह नज़रअंदाज़ की गयी् उसका ‘हमसफर’ तक़लीफ मानने से इनकार कर देता वाले के सामने दक दपछली बार जब तक दक नासूर नही् बन गयी्. है. दवशुद् स््ी दवमश्म पर आधादरत इस पुस्क मे् दो यहां पुद्ष के दलए वदरष्् लेदखका खंड है्, पहला है ‘घरेलू दहंसा के दखलाफ’ और दूसरा तुझे बनाते समय जो भूल की थी, मन्नू भंडारी की आत्मकथा का एक खंड है ‘मानदसक प््ताड़ना के दखलाफ’, जो अपनी उसे सुधार ले! नही् तुझे तो दफर अंश प््स्ुत दकया गया है दजसमे्वे व्याख्या- सामर्य्म और ब्यौरो् के तरतीबवार दवश्लेिण दफर वही बनना है! दफर दफर कहती है् दक ‘इनके (राजे्द् यादव की अद््ितीयता के कारण चुंबकीय आकि्मण से खी्चता औरत! सौ जनमो्तक औरत! तब के) बहुत भीतरी व्यक्ततत्व का एक है. यह दनस्सदं हे दवमश्मआधादरत पुसक ् है, लेदकन कही् तक औरत, जब तक तेरे दहस्से का ऐसा भी दहस्सा है जो बहुत दनम्मम, भी अपने उद््ेश्य मे् अदतरेकपूण्म नही्लगती त्यो्दक यह असमान, तेरे और दसफ्फ तेरे नाम कठोर और अमानवीयता को छूने महज़ जे्डर दडस्कोस्म नही् वरन स््ी पुर्ि संबंधो् के न कर ददया जाये!’ एक और एक औरत की नोटबुक : सुधा अरोड़ा; की हद तक कू्र भी रहा है और सामादजक, आद्थमक व मनोवैज्ादनक पक्् का गहन कहानी ‘बड़ी हत्या, छोरी हत्या’ राजकमल प्क् ाशन, दपरयागंज, नयी पदल्ली; कन्या भ्ण ्ू हत्या के दनम्मम सच को िेिरबैक -150, हाड्कि वर 300 र्. इसकी मार झेली है उन लोगो्ने, जो दवश्लेिण भी है. खु ल े मे ् खड़ा कर दे त ी है . बहुत अंतरंग होकर उनके प्यार की पुस्क मे् दहंसा की समस्या को दजस मुक़ाम और ‘ताराबाई चाल : कमरा नं ब र एक सौ पै ् त ीस’ के दविय सीमा मे ् होने का भ् ् म पालते रहे. वास््व मे् राजे्द् के नज़दरये से देखा गया है वही इसे सबसे अलग बनाती है. प् य ार और अं त रं ग ता की सीमा मे्कोई हो ही नही्सकता मे ् ले द खका खु द कहती् है ् , ‘ दहं स ा एक नकारात् म क भाव संकदलत कुल 13 रचनाओ्मे्से पहला आलेख ही बड़े दसवाय खु द राजे ् द ् के , त्यो्दक दकसी को भी प्यार की है और दहं स क व् य क् त त अपने भीतर की सारी कु ठ ं ाओ् , सारे साहस से स्वीकार करता है दक दहंसा दकसी भी र्प मे् दनंदनीय है, चाहे वह पदत ि््ारा पत्नी पर की गयी हो या असंतोि को अपनी पत्नी या बच््ो् (यानी ऐसे लोग जो सीमा मे्लेते ही अदधकार की बात आ जाती है, जो राजे्द्
दकसी को दे नही् सकते, समप्मण की बात आ जाती है, जो राजे्द्कर नही्सकते.’ पुस्क के पहले खंड यानी ‘घरेलू दहंसा के दखलाफ’ की तुलना मे् दूसरा खंड ‘मानदसक प््ताड़्ना के दखलाफ’ न केवल दभन्न लक््यके्द्दत है, बक्लक आज की स््ी के सरोकारो् को ध्यान मे् रखते हुए उतना ही ज़र्री भी है. हमारा मध्यवग्मऔर उच्व् ग्मद््सयो्के प्द्त बरती जाने वाली मानदसक दहंसा के इस रोग का दशकार हमेशा से रहा है. यह वह गुप्त रोग है दजसका केवल पृष्-प््भाव ददखता है. सददयो्से द््सयां मानदसक दहंसा झेलती आ रही है, लेदकन यह इतनी स्पष््और नमूदार नही् होती जो गाली गलौज़ या चीख दचल्लाहर के र्प मे्सुनाई दे सके. यह दहंसा का बहुत बारीक और मारक स्वर्प है जो एक धीमे ज़हर की तरह धीरे-धीरे मारता है. सुधा अरोड़्ा इसी वग्मकी स््ी का प््दतदनदधत्व करती है् सो धीमे ज़हर के प््भाव को उनसे ज्यादा और कोई नही्समझता. इस दूसरे खंड मे्मानदसक दहंसा का एक नृशंस र्प पुर्ि के सोचे-समझे मौन के र्प मे् प््स्ुत दकया गया है. इसी खंड मे् एक कहानी है ‘नमक’. मेज पर रखे जाने वाले नमक की एक छोरी सी दडदबया के जदरये एक औरत के पूरे अद््सत्व की क््दत, अपने घर मे् आत्मसम्मान के साथ जीने के अदधकार और जीवन भर अपूण्म और इंपरफेत्र कहे जाने, त्याग ददये जाने की असुरक््ा को इतने प््तीकात्मक ढंग से प््स्ुत दकया गया है दक हमे् सुधा अरोड़्ा के भीतर दछपा कदव अनायास ददखाई दे जाता है. भािा का सौ्दय्म, अदभव्यक्तत, छदवयां और दबंब सुधा अरोड़्ा की लेखन भािा के कौशल और प््भावपूण्मता को पूरी तरह प््दतदबंदबत करते है्.
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ल्पना कीदजए एक ऐसी बस््ी की जहां कोई पुदलस नही्, कोई सरकारी अनुशासन नही्. दफर भी बस््ी के लोग स्वच्छंद जीवन जी रहे है्. दकसी तरह की कोई बड़्ी समस्या नही् है वहां. कई तरह की सीमाओ् के बावजूद लोगो् का जीवन सहज और सद््कय है. वदरष्् पत्क ् ार उद्मल म श े ने डेनमाक्फकी राजधानी कोपेनहेगन के पास द््कस्रेदनया के र्प मे् एक ऐसी ही बस््ी को खोज दनकाला. इस यात््ा वृत्ांत ‘द््कस्रेदनया मेरी जान’ मे् यायावर पत्क ् ार दुदनया के अलग-अलग दहस्सो्मे्जीवन के नये मूलय् ो्की तलाश करता ददखाई देता है. अपने पांच महादेशो्के सफर का अनुभव साझा करते हुए उद्ममलेश वहां के अलग-अलग ढंग के समाजो् के हर स््र, हर श््ेणी तक पहुंचने की कोदशश करते है. लेदकन यह कोई ऐसा यात््ा वृत्ांत नही् है दजसमे् लेखक महज शहर के भूगोल और आंखो को लुभाने वाले दृशय् ो्तक सीदमत रहे. दरअसल उद्मल म श े अपनी हर यात््ा मे्शहर के भीतर एक दूसरे शहर या देश के अंदर दूसरे देश की तलाश करते ददखते है्. ‘द््कस्रेदनया’ मे् उन्हे् अपने देश के दकसी भी बड़्े शहर मे्अवैध बद््सयो्के बसने का तारतम्य नजर आता है, गांव मे् राम प््साद तेली की दुकान की याद आती है तो न्यूयॉक्फ पहुंच कर भारत के दहंदी अखबारो् के संपादकीय दवभाग की अंदर्नी राजनीदत. यही बात उद्ममलेश के संस्मरण को दूसरे यात्ा् वृत्ाांतो् से अलग करती है. सुदरू बसे देशो्की यात््ा नही्करने वाले पाठक भी इससे अपने को आसानी से जोड़्पाते है्, त्यो्दक वहां उन्हे् अपने देश जैसा कुछ न कुछ ददखाई दे जाता है. हालांदक न्यूयॉक्फ यात््ा प््करण मे् अखबारी दफ्तर की अंदर्नी पॉदलदरत्स कुछ ज्यादा ही हावी ददखाई देती है.
अनुराधा वसंह
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विपदाओं का संंी-विमरंश
www.shukrawaar.com n
विनेमा
20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
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पवद््ा बालन की दूसरी कहानी
हवर मृदुल
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ब दवद््ा बालन ‘कहानी 2- दुग्ाम रानी दसंह’ मे् नजर आयी. सुजॉय घोि की यह दफल्म उनकी दपछली चद्चमत दफल्म कहानी का सीत्वल नही्बक्लक फे्चाइजी है. दवद््ा बालन की दो और दफल्मे् बेगम जान और कमला दास भी दनम्ामणाधीन है्. बेगम जान बांगला दफल्म राजकदहनी की रीमेक है जबदक कमला दास एक बायोदपक है. प््स्ुत है दवद््ा से हुई बातचीत: एक समय आप मदहला प़़धान दफल़मे़ खूब कर रही थी़. इश़ककया, कहानी, पा और डट़़ी दपक़चर कुछ ऐसी ही दफल़मे़ थी़. आपको कई पुरस़कार भी दमले. दफर अचानक आप गायब सी हो गयी़? मेरे कदरयर मे् एक ठहराव सा आ गया था. लगातार कई सफल दफल्मे् देने के बाद अचानक मेरी दफल्मे् फ्लॉप होने लगी्. घनचक््र, बॉबी जासूस और हमारी अधूरी कहानी जैसी कई दफल्मे्लोगो्को पसंद नही् आयी्. मै् समझ नही् पायी दक ऐसा त्यो् हुआ? मुझे खुद पर बहुत गुस्सा आया. इतनी बड़्ी सफलता दमलने के बाद दवफलता को झेल जाना मुक्शकल होता है. इसके बाद मेरी तदबयत खराब हो गयी. मै्न आठ महीने आराम दकया और अपने आप पर गौर दकया. जल्दी ही मै् यह समझ गयी दक सफलता हमेशा बरकरार नही् रहती. इस समय मेरे पास तीन दफल्मे् है्- कहानी 2- दुग्ाम रानी दसंह, बेगम जान और कमला दास. ये िीनो़ दफल़मे़ स़़ी प़़धान है़? क़या यह मान दलया जाये दक आप मुख़य धारा क् कॉमद़शटयल दसनेमा से दूरी बना चुकी है़. इन दफल्मो् का दविय थोड़्ा अलग अवश्य है लेदकन ये तीनो् ही कॉमद्शमयल दफल्म है्. इन ददनो्दश्मको्को ऐसी ही स्द्कप्र
जब मुझे सुजॉय घोि ने इस दफल्म की कहानी सुनाई थी, तो मै्ने उनसे पूछा था दक लोग इसमे् दवद््ा बागची को तो नही् ढूंढ्ेगे? तब उन्हो्ने बताया दक वे सीत्वल दफल्म नही् बना रहे है्, बक्लक फे्चाइजी बना रहे है्. इसमे् दपछली दफल्म से आगे की कहानी नही्है, सो इसे अलग नजदरये से देखा जाना चादहये. मृणाल सेन, ऋदतक घरक, तपन दसन्हा, तर्ण दफल़म कहानी ने न क्वल कई नये ट़़ेड मजूमदार, श््ीजीत मुखज््ी, अदरंदम सील, सेट दकये, बश़लक बॉलीवुड को एक नयी ऋतुपण््ो घोि और कौदशक गांगुली की दफल्मे् दवद़़ा से भी पदरदचि करवाया. आप खुद भी देखने का मौका दमला. खास बात तो यह इस दफल़म को अपने कदरयर क् दलए है दक मेरे कदरयर की पहली दफल्म बांग्ला दकिना बड़ा मोड़ मानिी है़? भािा की ही थी, जो बन नही् पायी. बाद मे् दनद््शत र्प से कहानी मेरे कैदरयर का पहली दफल्म के र्प मे् पदरणीता प््दीप बड़्ा मोड़्है. इस दफल्म की सफलता के बाद सरकार जैसे दनद््ेशक के साथ की जो बंगाली बॉलीवुड मे्मदहला प््धान दफल्मो्पर भरोसा ही है्. कहाी भी मै्ने सुजॉय घोि के साथ की. बना. लगा दक अदभनेत्ी भी अपने दम पर अब मै् बांग्ला बोल लेती हूं. अगली दफल्म दफल्म चला सकती है. असल मे्हमारे समाज बेगम जान की काफी शूदरंग कोलकाता मे्ही मे्भी लड़्दकयो्की क्सथदत बदली है. ज्यादातर हुई है. लड़्दकयां अपनी लाइफ अपनी शत््ो्पर जीने कहानी-2 दुग़ाट रानी दसंह क् टाइटल मे़ की कोदशश कर रही है्. इसका असर दफल्मो् दपछली दफल़म का नाम भी जुड़ा है, िो की स्द्कप्र पर पड़्ा है. पहले की दफल्मो् मे् उसका दबाव दकिना है? औरत देवी होती थी या दफर उसकी डायन
सपछले सदनोंसवदंंा बालन कहानी 2-दुगंाश रानी सिंह मेंनजर आयीं. िुजॉय िोष की यह सफलंम उनकी सपछली चसंचशत सफलंम ‘कहानी’ का िीकंवल नहीं, बलंलक फ्ंचाइजी है. उनकी दो और सफलंमें‘बेगम जान’ और ‘कमला दाि’ भी सनमंाशणाधीन हैं. वाली दफल्मे् पसंद आ रही है्. वैसे बतौर हीरोइन मै्हर तरह की दफल्म मे्काम करना चाहती हू.ं सच कहूं तो मै्बहुत लालची प्क ् दृ त की अदभनेत्ी हू.ं मै्कोई भी चुनौतीपूणम्भूदमका छोडऩा नही्चाहती. कहानी 2- दुग़ाट रानी दसंह क् बारे मे़ बिाइये. क़या यह दपछली दफल़म क् रोमांच को आगे ले जाने वाली होगी? इस दफल्म मे् रोमांच भरपूर है. साथ ही यह दपछली दफल्म की तुलना मे्भावना प्ध ् ान भी है. एक पंकत् त मे्कहूं तो एक मां अपनी बेरी की रक््ा के दलए दकसी भी हद से गुजर सकती है. पहले दुग्ाम रानी दसंह नाम से अलग दफल्म बननेवाली थी. लेदकन बाद मे् इसके साथ कहानी-2 जोड़्ददया गया. दुगा्म रानी दसंह एक सामान्य मदहला है. यह कहानी की दवद््ा बागची से एकदम अलग है. इसकी दुदनया अलग है. लेदकन यह उस दफल्म के रोमांच को आगे ले जाने का काम करेगी. बंगाली पदरवेश क् दकरदार आपको कुछ ज़यादा ही लुभािे है़. पद़़शम बंगाल मे़ आपकी लोकद़़पयिा भी काफी है. इसक् पीछे क़या राज है? राज जैसी तो कोई बात नही् है. हां मुझे कॉलेज के ददनो्से ही बांगल ् ा सीखने का शौक था. इसके दलए मै्ने गाने सीखे. एक-एक करके कुछ वात्य बोलना सीखे. जब महान दफल्मकार सत्यजीत राय को ऑस्कर ददया गया था तो उनके बारे मे् मै्ने पद््तकाओ् मे् पढ्ा था. उनकी दफल्मे् तलाशकर देखी्.
जैसी छदव रची जाती थी. लेदकन अब वो इंसान के तौर पर ददखाई जा रही है. उसमे् कदमयां भी है्और खूदबयां भी. उनमे्कई शेड है्, जो न बहुत अच्छे है्और न ही बहुत बुरे. दफल़म बेगम जान क् बारे मे़ बिाइये? यह बांग्ला दफल्म राजकदहनी की रीमेक है. बहुत पॉवरफुल दफल्म है. मूल दफल्म बंगाल की पृष्भूदम पर बनी थी और यह दफल्म पंजाब के बैकग््ाउंड पर है. इस दफल्म मे्दवभाजन के दौर की कहानी है. एक कोठा है, दजसका आधा दहस्सा पादकस््ान के पास चला गया है और आधा दहंदुस्ान के पास रह गया है. जद््ोजहद यह है दक इस कोठे को पार््ीशन से बचाना है. इस दफल्म मे् बड़्ी ददलचस्प कहानी है. इस दफल्म का दनद््ेशन श््ीजीत मुखज््ी ने दकया है. आप एक मलयालम दफल़म भी िो कर रही है़. इस बायोदपक दफल़म मे़ आप कमला दास की भूदमका दनभा रही है़, जो दक एक मशहूर कवदयत़़ी थी़. इस दफल़म क् दलए आपने क़या िैयादरयां की है़? मै्ने कमला दास की जीवनी पढ्ी है. इसके अलावा उनकी दलखी कदवताओ् पर एक गहरी नजर डाली है. इस दफल्म की शूदरंग जल्द ही शुर्होगी. इसके दनद््ेशन का बीड़्ा उठाया है कमल ने. कम लोगो्को पता है दक कमल के साथ ही मेरे कदरयर की पहली दफल्म शूर होने वाली थी, लेदकन बाद मे्यह दफल्म बंद हो गयी थी. दफल्म कमला दास की शूदरंग मुंबई, केरल और कोलकाता मे्होनी है. इसमे्अपने दकरदार की तैयारी के दलए मै् कमला जी के वीदडयो देखूंगी. मै् उनके बेरे के संपक्फमे्हूं, इसदलए उनके बारे मे् ज्यादा से ज्यादा जानकादरयां हादसल करं्गी. मेरी ओर से पूरी कोदशश होगी दक मै् प््ामादणक तौर पर अपना दकरदार दनभाऊं. नयी पीढ़ी की हीरोइनो़ पर आपकी क़या प़़दिद़़कया है? आप आज की दकन अदभनेद़तयो़ क् काम से प़़भादवि है़? नयी पीढ्ी की लगभग सभी अदभनेद्तयां प््दतभाशाली है्. ये गजब की प््ोफेशनल है्. इन्हो्ने पूरी तैयारी के साथ अदभनय के क््ेत्मे कदम रखे है्. मै् कंगना रनोर और आदलया भट्् की दफल्मे् काफी उत्सुकता से देखती हूं. ये दोनो् ही लीक से हरकर काम करती है्. कंगना तो खैर मंझी हुई अदभनेत्ी है् ही, आदलया भी लगातार अपने आपको सादबत कर रही है्. इन दोनो्की दफल्मो्का चयन भी मुझे आकद्िमत करता है. इनके पास देखने की एक खास दृद्ष है, जो कम अदाकारो्मे्होती है. माना जािा है दक शादी क् बाद हीरोइन का क़्ज बरकरार नही़ रह पािा. आपक् कदरयर पर दकिना असर पड़ा है? शादी के बाद भी मेरा अदभनय कदरयर सुचार् ढंग से चल रहा है. जैसा दक मै् बता चुकी हूं दक इस समय मेरे हाथ मे्तीन दफल्मे् है.् मेरे पास काम की कोई कमी नही्है. मुझे दफल्मो् के ऑफर दमलते रहते है्. लेदकन मै् सोच-समझकर ही दफल्मे्कर रही हू.ं मै्महज संखय् ा बढ्ाने के दलए काम नही्करनेवाली हू.ं भले ही मुझे एक भी र्पया फीस न दमले, लेदकन मेरी खोज अच्छे दकरदारो्की ही रहेगी. मै्ऐसे रोल करने के दलए काफी उत्सक ु रहती हू,ं जो मैन् े अभी तक नही्दकये है.्
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जवसंता केरकेटंा
म
पय्ाटन
20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
ई की 23 तारीख को ददल्ली से फैक ् फुरम् रवाना होते हुए भारत मे् एक दोपहर छोड़ गयी थी, दजसे सांझ होते हुए देखना चाहती थी, लेदकन फैक ् फर्ममे्उतरते हुए पता चला दक वहां सूरज देर से डूबता है. रात के 9.00 बजे तक आकाश मे् उजाला पसरा रहता है और 10.30 बजते-बजते धीरे-धीरे अंधरे ा छाने लगता है. तब भारत मे्सुबह हो रही होती है. गम््ी का मौसम वहां वसंत सा होता है और तब भी बादरश अपनी मनमानी करती रहती है. ददल्ली से जाते समय गम््ी और उमस से तंग मन ने नही्सोचा था फैक ् फर्म एयरपोर्मसे बाहर दनकलते ही एक ठंडी हवा यो्रकरायेगी और ऐसी ठंड मे्कही्से दनकल आयेगा झारखंडी शॉल. हमे् लेने एयरपोर्म पहुच ं े योहान्नस े लादपंग हमारे दलए दो झारखंडी शॉल लेकर आये थे. फैक ् फुरम् एयरपोर्म से एप्पलहाइम की ओर जाते हुए लगा जैसे सपनो् की दुदनया मे् आ गयी हू.ं कोई देश इतना साफ कैसे हो सकता है, और उस पर जहां तक नजर जाये, वहां तक पसरी हुई हदरयाली. पच््ीस मई के तड़के तीन बजे ही नी्द खुल गयी. दखड़की खोलकर बाहर झांकने लगी. घंरो्ठंडी हवा का आनंद लेते हुए सुबह को धीरे-धीरे पूरे आकाश मे्पसरते हुए देखा. हर घर के पीछे फुलवारी है.् चेरी के पेड़, गुलाब और तरह-तरह के फूलो्के पौधे. रहरहकर सोच रही थी दक कैसे दूसरे देशो् के लोग समझने लगे है् दक अब नददयो् और पहाड़ो् को बचा लेना चादहए. धूल-गद्म से हवाओ्के चेहरे पर कादलख पोतना बंद करना चादहए. दूर-दूर तक खेतो् मे् तरह-तरह की फसल फैली थी. चारो् ओर दसफ्फहदरयाली. खेतो्के बीच पगडंदडयो्पर एक जोड़ा धीरेधीरे रहलता हुआ मेरी नजरो् से दूर दनकल रहा था. सुबह एप्पलहाइम बाजार की ओर दनकल पड़ी. कुछ दुकानो् के दरवाजो् पर अपने कदवता-पाठ के काय्क म म् की सूचना तस्वीर के साथ देखकर मजा आया. मेरे दलए यह दबलकुल सपने जैसा था. कई लोगो् ने तस्वीरे् देख कर पहचान दलया और उन्हो्ने दमल कर कहा दक वे मेरे काय्क म म् मे्आ रहे है.् एप्पलहाइम मे्एक पक्बलक लाइि्र्े ी देखी, जहां लोग खुले मे्बैठकर दकताबे्पढ सकते है.् दकसी को दकताबे् लेनी हो तो वह दबना दकसी को पूछे वहां से दकताबे्उठा सकता है या पुरानी दकताबे्लौरा़ सकता है. लोग यह सब ईमानदारी से करते है.् ग्यारह बजे एप्पलहाइम से बाडन-बाडन शहर पहुच ं ी. वहां फ््ीडा काहलो का संगह् ालय है. मुझे फ््ीडा काहलो के बारे ज्यादा जानकारी नही् थी. इस संगह् ालय मे्उनके बचपन से लेकर पूरे जीवन पर आधादरत तस्वीरो्को देखते हुए मालूम हुआ दक फ््ीडा अपनी पेद्रंग के माध्यम स्वयं को अदभव्यत्त करते हुए मशहूर हुई.् उनकी पेद्रंग उनके जीवन की यातनाओ्की कहानी कहते सव्भम ौम हो गये. बाद मे् वह और उनकी पेद्रंग स््ी मुकत् त आंदोलनो् की प्र्े णा स््ोत बन गयी्. बाडन-बाडन से लौरते हुए एरनदलंगने नामक शहर भी गयी, जहां लोग स्वास्रय् लाभ के दलए जाते है.् शहर के
शहरोृ मेृ घूमती कववता
बीचो् बीच नददयो् को बेपरवाह बहते देखा, बस वहां की नददयां खूबसूरत नालो्की शत्ल मे्नजर आती है. मेरे दलए नदी का अथ्मतो बालू, चट््ान, मछदलयां, मंगरदाह, पानी की धार से करे-छरे दकनारे और दकनारो् पर कमर लचकाये खड़े पेड़ भी होते है.् दूसरे ददन नाश्ते के बाद योहान्नसे लादपंग के साथ हाइडलबग्मशहर देखने दनकल पड़ी. खूबसूरत पहाड़ नजर आये, दजन्हे्प््ाकृदतक र्प मे्फलने-फूलने ददया जा रहा. उन पर चढने के दलए रास््ेबनाये गये है.् पहाड़ पर जम्नम कदव जोसेफ वॉन की प्द्तमा खड़ी है. हाइडलबग्म की नदी, जो आगे जाकर राइन नदी मे्दमल जाती है, शहर के बीचोबीच बह रही है. नदी पर एक पुराना पुल है, जो हाइडलबग्मबाजार से जुड़ता है. शाम को योहान्नस े लादपंग की बुक शॉप मे्काय्क म म् के दलए लोग आने लगे थे. देखते ही देखते बुक शॉप भर गयी. मैन् े कदवताएं पढना शुर् दकया. ‘गांव की एक शाम’, ‘सारंडा के फूल’, ‘दगद््दृद्ष’, ‘ओ शहर’, ‘नदी’, ‘पहाड़ और बाजार’, ‘हूल की हत्या’, ‘कि््पर मडुआ के अंकरू ’, ‘भूख का आग बनना’ और धीरे-धीरे लोगो्की आंखे्गीली होने लगी्. सामने बैठी जम्नम युवती की गालो् पर आंसू की बूदं े लुढक गयी्. तब अचानक ‘काश! इमली खट््ी न होती’ कदवता सुनते ही लोग एक साथ मुसक ् रु ा उठे. हर पांच कदवताओ्के बाद एक छोरा ि्क ्े होता और लोग अपनी प्द्तद््कयाएं देते थे. करीब 15 कदवताएं सुनने के बाद देर तक तादलयां बजती रही्. अगली सुबह एप्पलहाइम से श्त्े रे जाते हुई गाड़ी मे् सो गयी, दफर बीच रास््े मे् अचानक नी्द खुल गयी. मैन् े कभी भी गादड़यो् मे्दबना दहचकोले खाये यात््ा नही्की थी. कब दो घंरे बीत गये, पता ही नही्चला. पूरे रास््े तस्वीरे् उतारती रही. इतने सुदं र रास्,्े हदरयाली से भरे हुए, जंगलो् के बीच से गुजरती गाड़ी और दोनो्ओर तेजी से पीछे की ओर भागती पेड़ो्की कतारे.् मुखय् सड़क से करीब एक घंरे की दूरी तय कर हम एक छोरे गांव पहुच ं .े दोपहर का खाना खाने के दलए.
सकिी भी देर का एक रहर उिके िमाज की एक परत हमारे िामने खोलता है. ऐिी कई परतोंिे होती हुई इि यातंंा मेंकसवता भी िफर कर रही थी. जमंशनी के कई छोटेबडंेरहरोंकी यादोंअनुभवों को िमेटता यातंंा वृतंांत . योहान्नस े ने रेसर् ोरेर् चलाने वाली मदहला को बताया दक उन्हो्ने उस रेसर् ोरेर् के बारे इंररनेर पर पढा था. यह जानकर वह काफी खुश हुई. चार बजे हम श्त्े रे शहर पहुच ं ,े शाम सात बजे काय्क म म् की शुरआ ् त होनी थी. पहले ददन गो्ड आददवादसयो् पर तीन सालो तक शोध करने वाले एक जम्नम व्यक्तत ने अपनी बाते्रखी्. काय्क म म् के प्थ ् म सत्् मे् उपसाला यूदनवद्सरम ी, स्वीडन के प््ो. हाइंजस ने ददलत सादहत्य पर अपना वत्तव्य ददया. दूसरे सत््मे् मैन् े कदवताओ्का पाठ दकया. इसके अलावा दो अलग-अलग काय्श म ाला का आयोजन था. एक काय्िम ाला आददवाणी की दनदेशक र्बी हेि् ्ोम के अनुभवो् पर आधादरत थी. वही्, दूसरी काय्श म ाला मेरे अनुभवो्और कदवताओ् पर आधादरत. लोग ढेर सारी कदवताएं सुनना चाहते थे. उन्हो्ने मेरी दशक््ा-दीक््ा, कदवताओ् की प्र्े णा, दहंदी मे् ही कदवता दलखने का कारण, दसमडेगा के गांवो्से दनकलने वाली कदवताओ्आदद के बारे मे्सवाल पूछ.े मैन् े दसमडेगा के रेग् ारीह प्ख ् ड ं की कुछ आददवासी लड़दकयो्की दलखी कदवताओ्का पाठ दकया, दजसका अंगज ्े ी अनुवाद भी पढा गया. अगले ददन सुबह हनोवर की दो घंरे की यात््ा के बाद हम बीच मे्योहान्नस े लादपंग की एक दमत््के पास र्क.े वहां लंच दकया और पास के ही एक झील देखने दनकल पड़े. यात््ा शुर्हुई और शाम पांच बजे हनोवर के एक गेसर् हाउस पहुचं .े शाम सात बजे कदवता पाठ
का काय्क म म् था. इस काय्क म म् मे् कुछ दवद््ाथ््ी और कुछ बुद्दजीवी मौजूद थे. जैसे ही काय्क म म् समाप्त हुआ, जोरो् की बादरश शुर् हो गयी. हम भीगते हुए एक भारतीय रेसर् ोरेर् पहुच ं .े इतने ददनो् बाद पहली बार चावल और दाल-सब्जी खाने को दमला. सुबह जब नी्द खुली तो बादरश हो रही थी. नौ बजे हनोवर से कास्सल के दलए रवाना होना था. कास्सल मे् भी शाम 7.00 बजे कदवता-पाठ का काय्क म म् था. वहां ि््ाजील, श््ीलंका व दुदनया के दवदभन्न दहस्सो् मे् आददवासी संघि््ो पर काम करने वाले श््ोता मौजूद थे. वे कदवता-पाठ के बाद कई बाते् जानने को उत्सक ु थे. मसलन, भारत मे् आददवादसयो् के संघि्म दकस तरह के है?् उनकी धाद्मक म पहचान त्या है? दुदनया के आददवासी दकस तरह बचे रह सकते है?् आदद. इस पर देर तक चच्ा-म पदरचच्ाम होती रही. इस पूरे सप्ताह प््ो. एंदथया के पास ही ठहरे. दो जून को एरफर्मसे लाइपक्सचक शहर के दलए रवाना हुए. वहां के ट््ाइबल म्यदू जयम के ठीक सामने एक होरल मे्हमारे र्कने की व्यवस्था की गयी थी. शाम को काय्क म म् संगह् ालय मे आयोदजत था. संगह् ालय मे् घूमते हुए देखा दक वहां भारत, अफ््ीका, लैदरन अमेदरका, ऑस्टद्ेलया, दुदनया के हर देश के आददवादसयो्से जुड़ी चीजे्मौजूद थी्. लाइपक्सचक मे्म्यदु नख से पहुच ं े डॉ. दफदलप व डॉ. कात्जा ने उनके साथ रात बाहर घूमने जाने का आग्ह् दकया. देर रात लाइपक्सचक की सड़को्पर बेपरवाह घूमते हुए पहली बार आदमी से आदमी का दबना डरे रात भर घूमने का एहसास त्या होता है, पता चला. लाइपक्सचक से लौरते हुए वाइमार शहर मे्र्की. वाइमार से सरे नाजी कंसट्श ्े न कैप् ो् देखने गयी, जहां यहूददयो्को कैद दकया जाता था और उन्हे्कूर् यातनाएं दी जाती थी. वहां गैस चेब् र को उसी अवस्था मे् देखकर मन भारी होने लगा. कंसट्श ्े न कैप् के अंदर उस भवन को भी देखा जहां दहरलर के दौर मे् नाक्तसयो्ि््ारा यहूदी कैददयो्पर तरह- तरह के प्य् ोग होते थे. मसलन, शरीर का कौन सा
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दहस्सा दनकालने से कैदी दकतने ददन दजंदा रहेगा और न जाने दकस-दकस तरह के कूर् प्य् ोग. यह भवन अब संगह् ालय मे् तब्दील कर ददया गया है. यहूदी कैददयो्के दलए बनाये गये भवन अब ध्वस््हो चुके है्. उन जगहो् पर अब काले पत्थर भर ददये गये है. जम्नम ी के अलावा दूसरे दहस्सो् मे् भी मौजूद बड़े कंसटं श ्े न कैप् ो्के नाम एक जगह अंदकत है.् उस स्थान को देखते ही साथ गये योहान्नस े लादपंग फफक कर रो पड़े. पूवज म् ो् के कूर् कदमो् के दनशान कैसे पीदढयो् के सीने मे् अंदकत रह जाते है्दकसी बदनुमा दाग की तरह और अपना इदतहास याद ददलाते रहते है.् योहान्नस े उन कहादनयो्को दोहराने लगे जो उन्हो्ने बचपन मे्देखी-सुनी्. एरफर्म वापस लौरते हुए उन पुरानी तस्वीरो् को पलरती रही, दजन्हे् कंसटं श ्े न कैप् ो् के पास के एक दकताबो् की दुकान से लायी थी. उस ददन रात का खाना खाते वत्त दफर इन बातो्पर चच्ाम होने लगी और माहौल और गमगीन हो गया. प््ो. माद्रनि अपने दपता के बारे बता रहे थे दक कैसे उन्हो्ने लंबे समय से नात्सी अत्याचारो् पर बात करने से रोक लगा दी थी और इस कारण दपता-पुत्के संबधं मे्लंबे समय तक दरार पड़ गयी. दूसरे ददन हाइदनस जंगल देखने के दलए दनकली. यहां पूरे जंगल को उपर से देखा जा सकता था. इसके दलए सीदढया बनायी गयी है.् लौरने के क्म् मे्जम्नम ी के मध्य मे्क्सथत एक खुला संगह् ालय भी देखा जहां जम्नम ी के पहले आददवासी, जो ईसा पूवम्से ही इस देश मे्रहा करते थे. वहां उनके स्मदृ त शेि रखे गये है.् लौरते समय दूर-दूर तक बस बड़े-बड़े खेत नजर आ रहे थे. जब हवा जब चलती थी तो लगता था मानो समुद्मे्लहरे्एक साथ उठ और दगर रही है.् एरफर्मयूदनवद्सरम ी जम्नम ी के पुराने दवश्द्वद््ालयो् मे् से एक है. यही् माद्रनम लूथर ने अपनी पढाई की थी. छह जून को गोदरंगन यूदनवद्सरम ी मे् काय्क म म् था. इस काय्क म म् मे्भारत के मुबं ई, पुणे और अन्य शहरो्से जम्नम ी गये लोगो्ने दहस्सा दलया. इनमे्पीएचडी के नेतह् ीन और नृतय् -संगीत मे् र्दच लेने वाले दवद््ाथ््ी भी शादमल थे. उन्हो्ने कहा दक इन कदवताओ्की दरकॉद्डगं् उपलब्ध होनी चादहए. एमडन मे् मेरा अंदतम काय्क म म् था. एमडन से एप्पलहाइम लौरते वत्त फैक ् फर्मके करीब ही साइंदरदफक अमेदरका मैगज ् ीन की पूवम्संपादक मधुश्ी मुखज््ी के घर पहुच ं .े मसाले वाली चाय पीते हुए हमने काफी देर तक बाते्की्. उन्हो्ने अपनी दकताब ‘द लैड ् ऑफ नेकड े पीपल’ दी. चौदह जून को हाइडलबग्म यूदनवद्सरम ी और 16 जून को हाइडलबग्म के इवदनंग एकाडमी मे्कदवता-पाठ का काय्क म म् संपन्न हुआ. सत्ह् जून को शाम पांच बजे फैक ् फर्म एयरपोर्मके दलए रवाना होना था. लौरने से पहले एक बार दफर ठंडी हवाओ्को देर तक महसूस दकया, पहाड़ो्को जी भर कर देखा. खाली-खाली सड़को्को घंरो्दनहारा. सुबह अकेली घर से बाहर दनकल गयी और दूर तक पैदल चलती रही, सड़को् के दकनारे दखले फूलो्को देखती रही. (लेदखका युवा कदव और पत्क ् ार है.्)
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20 जनवरी - 26 जनवरी 2017
जलीकट्् िर आयेगा अध्यादेश
नयी ददल़ली. तदमलनाडु मे् जलीकट्् के समथ्मन मे् जारी दवरोध प््दश्मन के बीच राज्य सरकार ने शुक्वार को ऐलान दकया दक इस बारे मे्एक दो ददन मे्अध्यादेश जारी दकया जायेगा. इस बीच के्द् सरकार ने भी सुप्ीम कोर्म मे् अज््ी दादखल करके कम से कम एक सप्ताह तक फैसला नही् देने का अनुरोध दकया है. के्द् का कहना है दक धाद्ममक भावनाओ्को लेकर राज्य मे्प््दश्मन हो रहे है् ऐसे मे् कानून व्यवस्था को लेकर समस्या खड़्ी हो सकती है. सुप्ीम कोर्म ने उसकी यह मांग मान ली है. तदमलनाडु के मुख्यमंत्ी ओ पनीरसेल्वन ने कहा है दक राज्य सरकार ने संबंदधत अध्यादेश का मसौदा गृह मंत्ालय के पास भेजा है और उसे एक-दो ददन मे्जारी सकती है. मुख्यमंत्ी ने लोगो् से यह अपील कर ददया जायेगा. शुक्वार की शाम को इस भी की दक वे अपना दवरोध प््दश्मन खत्म कर दविय पर राज्य मंद्तमंडल की बैठक हो दे्. गौरतलब है दक मद््ास उच््न्यायालय ने
'तो मोदी ताजमहल का भी श्य्े ले लेत'े
सहारनपु र . खादी ग््ामोद््ोग की डायरी और कैले्डर मे् चरखे के साथ मोदी के फोरो का दववाद अब चुनाव मे् भी चच्ाम का दविय बन गया है. एआईएमआईएम के नेता असादुद्ीन ओवैसी ने प््धानमंत्ी नरे्द्मोदी पर दनशाना साधते हुए गुर्वार को कहा दक अगर ताजमहल और लाल दकला का दनम्ामण सालो्पहले नही्हुआ होता तो वह उनका भी श््ेय ले लेते. यहां के गांधी पाक्फ मे् एक साव्मजदनक रैली मे् ओवैसी ने खादी
ग््ामोद््ोग के कैले्डर और रेबल डायरी पर महात्मा गांधी की तस्वीर की जगह मोदी की तस्वीर छापने को लेकर भी प््धानमंत्ी पर हमला बोला. उन्हो्ने कहा दक हर दकसी को पता है दक चरखा दोनो् हाथो् से चलता है लेदकन मोदी उन तस्वीरो्मे्एक ही हाथ से चरखा चलाते ददख रहे है्. ओवैसी ने कहा, खुशदकस्मती से लाल दकला और ताज महल का दनम्ामण सालो् पहले हो गया था नही् तो प््धानमंत्ी ने उनका भी श््ेय ले दलया होता.
इस मामले मे् दखल देने से इनकार कर ददया था. अब यह मामला सव््ोच््न्यायालय मे्है.
कोलकािा. दवत्् मंत्ी अर्ण जेरली पद््शम बंगाल सरकार ि््ारा यहां आयोदजत तीसरे ‘बंगाल वैद्शक व्यावसादयक दशखर सम्मेलन’ के उद्घारन मे्शादमल नही्हुए. उनकी अनुपक्सथदत को पद््शम बंगाल सरकार और के्द् के बीच वत्ममान राजनीदतक संबंधो्के संदभ्ममे्देखा जा रहा है जो बहुत ठीक नही्ददख रहा है. काय्मक्म के अनुसार जेरली को इसमे् शादमल होना था, लेदकन उनकी कमी खली. सूत्ो् के अनुसार माना जा रहा है दक उन्हे् उनके हाईकमान ने यहां आने से मना कर ददया. पद््शम बंगाल और के्द् सरकार के सबंध हाल के दौर मे्कुछ अदधक दबगड़्गये है्. खासकर पद््शम बंगाल मे् सत््ार्ढ तृणमूल कांग्ेस (रीएमसी) के दो सांसदो्
चालान पेश करने तक दस््ावेज न दे पाने की बात कही थी, लेदकन ईडी ने उसे नही् भोपाल. बीते ददनो् सुद्खमयो् मे् आये सुना. ईडी की एक रीम जल्द ही मामले मे् करनी के कदथत हवाला मामले मे् प््वत्मन करनी जाने वाली है. इस मामले मे्सरागवी दनदेशालय यानी ईडी ने मामला दज्म कर बंधुओ्के दखलाफ एफआईआर दज्मकी गई दलया है. करीब 500 करोड़् र्पये के इस थी. सरागवी बंधु का सूक्म, लघु एवं मध्यम हवाला मामले मे्यह मामला करनी पुदलस उद््ोग मंत्ी संजय पाठक से करीबी दरश्ता है की एफआईआर के आधार पर दज्म दकया और जब्त दस््ावेजो्मे्उन कंपदनयो्का भी गया. करनी पुदलस ि््ारा इस मामले मे् चार दजक््है, दजसमे्संजय पाठक डायरेत्रर है्. लोगो्को आरोपी बनाया गया है. यह मामला गौरतलब है दक पाठक कांग्ेस छोड़्कर काला धन दनरोधक कानून के तहत दज्म भाजपा मे्आये थे. कांग्ेस ने इस मामले पर दकया गया. जमकर दवरोध प््दश्मन दकया है. वही्भाजपा दपछले ददनो् इस मामले ने उस समय पू रे मामले को तूल नही्देने के मूड मे्नजर राजनीदतक रंग पकड़् दलया था जब आ रही है. अभी दो ददन पहले प््देश भाजपा तत्कालीन करनी एसपी गौरव दतवारी का अध् य क्् नंदकुमार चौहान ने कहा था दक अचानक दछंदवाड़्ा स्थानांतरण कर ददया मामले के जोर पकड़्ने पर मुख्यमंत्ी गया था. दतवारी इस मामले की जांच कर रहे दशवराज दसंह चौहान ने 13 जनवरी को कांग्ेस इस मामले मे्दचंदी को सांप बना रही थे. अरकले् थी् दक इस जांच की आंच मामले की जांच ईडी से करवाने के दलए पत्् है इसमे्हवाला जैसा कुछ भी नही्है. दतवारी स्थानीय दवधायक व भाजपा सरकार मे्मंत्ी भेजा था. जानकारी के मुतादबक ईडी ने के स्थानांतरण का व्यापक जनदवरोध होने के संजय पाठक तक पहुंच रही थी् इसीदलए करनी पुदलस से संपक्फ कर मामले से जुड़े बावजूद उन्हो्ने कहा था दक यह सामान्य दतवारी को करनी से हरा ददया गया. दस््ावेज मांगे. हालांदक करनी पुदलस ने प््शासदनक कवायद का दहस्सा है. RNI- DELHIN/2015/ 65658
नयी ददल़ली. उच््तम न्यायालय ने पांच राज्यो् मे् दवधानसभा चुनावो् के मद्न्े जर केनद् ्ीय बजर पेश करने की तारीख आगे बढ्ाने हेतु दायर यादचका पर सुनवाई आज 23 जनवरी तक के दलये स्थदगत कर दी. प््धान न्यायाधीश जगदीश दसंह खेहर और न्यायमूदत् म धनंजय वाई चंदच ्ड़ ू ्की पीठ ने इस जनदहत यादचका के समथ्मन मे् कानूनी प््ावधानो् और अन्य सामग््ी पेश करने के दलये कहा था. अदधवत्ता मनोहन लाल शम्ाम ने यह जनदहत यादचका दायर की है. उन्हो्ने कहा दक वह बहस के दलये तैयार है् और इस मामले मे्सोमवार को बहस कर सकते है्. यादचका मे्कहा गया है दक वि्म201718 का केन्द्ीय बजर पेश करने की तारीख एक फरवरी से आगे बढ्ाई जाये. यह बजर एक अप््ैल से शुर् हो रहे दवत््ीय वि्म के दलये है.
तनातनी मे् जेटली और ममता
कटनी मामले मे् ईडी ने दज्ि पकया मामला
पूजा वसंह
मुख्यमंत्ी पनीरसेल्वम ने कहा दक इस बारे मे्संशोधन को लेकर संदवधान दवशेिज््ो् से बात की गयी है. अध्यादेश के मसौदे को लेकर केद् ्के साथ बात करने के दलए वदरष्् अदधकादरयो् को लगाया गया है. राज्य मे् जलीकट््की अनुमदत देने के दलए अध्यादेश पर जल्द ही फैसला हो जायेगा. दवरोध प्द् श्नम ो्को दफल्म कलाकारो्का समथ्मन भी दमल रहा है. कई दफल्मी कलाकारो् ने काले कपडे़ पहने. एत्रर रजनीकांत, अजीत और गणेश वेक ् ररमण भी मरीना बीच पर पहुंचे. डीएमके की तरफ से आयोदजत राज्यव्यापी रेल रोको आंदोलन मे् पार््ी सांसद कदनमोई और पूव्म के्द्ीय मंत्ी दयादनदध मारन समेत कई बडे़ नेता शादमल हुए. जलीकट््के समथ्नम मे्शुकव् ार को कई कारोबारी संगठनो्और यूदनयनो्ने हड़्ताल का आह््ान दकया.
बजट पर सुनवाई तेईस को
इकाई के नेता जयप््काश मजूमदार को दरश््त के एक कदथत मामले मे् दगरफ्तार कर दलया. पद््शम बंगाल वैद्शक व्यावसादयक सम्मेलन के उद्घारन सत््मे्राष््पदत प््णब मुखज््ी, राज्यपाल केशरी नाथ द््तपाठी, मुख्यमंत्ी ममता बनज््ी, राज्य सरकार मे् दवत््मंत्ी अदमत दमत््ा उपक्सथत थे. उद््ोग जगत से जाने-माने उद््ोगपदत तपस पाल और सुदीप बंद्ोपाध्याय की संजीव गोयनका, सज््न दजंदल, दकशोर दगरफ्तारी के बाद दोनो् पक््ो् मे् तल्खी बढ् दबयानी आदद कई हद््सयां सम्मेलन मे्भाग गयी है. ले रही है्. के्द्ीय जांच एजे्सी सीबीआई ने दोनो् दो ददन के इस सम्मेलन मे् 27 से को रोज वैली दनवेश घोराले की जांच के अदधक देशो् के प््दतदनदध भाग ले रहे है्. दसलदसले मे् पकड़्ा है. उसके बाद राज्य दवदेशी प््दतदनदधयो्की भागीदारी 3,000 के सरकार ने भारतीय जनता पार््ी की राज्य करीब बताई जा रही है.
इस पटकथा का लेखक कौन है?
पेज 8 का बाकी अदखलेश की चुनावी गोरी तो लाल होने से रही लेदकन चरखा दांव के पहलवान और अपने दपता मुलायम दसंह यादव और चाचा दशवपाल को हराकर अदखलेश यादव अब पूरे जोर–शोर से मैदान मे् है्. रेस से सबसे तेज दखलाड़्ी के तौर पर उतरते ददख रहे है्. चुनाव मे् हार–जीत का फैसला तो जनता करेगी लेदकन अगर अदखलेश जीत गये तो उन्हे् इदतहास के ऐसे दकरदार के तौर पर जाना जाएगा, दजसकी कोई दमसाल नही् दपता और चाचा को दशकस्् देकर अदखलेश यादव वो इक़्बाल हादसल दकया है जो चार साल सीएम रहते हादसल नही्कर पाये थे. अब उनकी छदव ऐसे युवा नेता की बनी है जो अपनी साफ्-सुथरी छदव के साथ काम कहना चाहता है. जो अतीक और अफ्जल जैसे माद्फया और बाहुबली नेताओ् को पास फरकने नही् देना चाहता. जो दवकास के रास््ेपर अपनी साइदकल दौड़्ाना
चाहता है. जो अपने बुज़्ुग्मदपता का सम्मान करते हुए फै्सले का अदधकार चाहता है. जनता अदखलेश के इस कायांतरण को दकतना क़्बूल करती है, इसका पता तो नतीजो्के बाद लगेगा लेदकन एक लड़्ाई तो अदखलेश जीत चुके है्, वो है सूबे की जनता की नज़्र मे् इक़्बाल क़्ायम करने की लड़्ाई. बाप-बेरे के बीच जब ये लड़्ाई सरेआम हुई थी तो लोगो्ने कहा - ये नूरा -कुश्ती है. दकसी ने कहा अपने बेरे को चाचा दशवपाल समेत पदरवार के दुश्मनो् की सादजशो् के साये से बचाने और सूबे की दसयासत मे् अपने वादरस के तौर पर स्थादपत करने के दलए पूरी परकथा खुद मुलायम ने दलखी है. लेदकन इस लड़्ाई का अंजाम देखकर कम से कम ये तो नही् कहा जा सकता दक मुलायम दसंह ने कोई नारक तैयार दकया और अदखलेश दकरदार बनकर स्रेज पर दथरकते रहे.
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